Best Mythological Stories Books Free And Download PDF

Stories and books have been a fundamental part of human culture since the dawn of civilization, acting as a powerful tool for communication, education, and entertainment. Whether told around a campfire, written in ancient texts, or shared through modern media, Mythological Stories in All books and stories have the unique ability to transcend time and space, connecting people across generations and...Read More


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बर्बरीक By Renu

बर्बरीक महान पाण्डव भीम के पुत्र घटोत्कच और नाग कन्या अहिलवती के पुत्र थे। कहीं-कहीं पर मुर दैत्य की पुत्री 'कामकंटकटा' के उदर से भी इनके जन्म होने की बात कही गई है। इनके ज...

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गीत रामायणा वरील विवेचन - 47 - लंकेवर काळ कठीण आज पातला By Kalyani Deshpande

युद्ध अखंड सुरू असते. वानरसेना राक्षस सेना एकमेकांना शस्त्राने उत्तर देत होती.इकडे मेघनाद राम व लक्ष्मणांना नागपाश बाणाने बंदिस्त करतो त्यामुळे वानर सेनेत गोंधळ आणि दैत्य सेनेत विज...

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राजकुमारी शिवन्या - भाग 23 By Mansi

भाग २३ अब तक आपने देखा की राजकुमारी ने इस विवाह के लिए उत्तर में हा कहा था अब आगे की कहानी देखते है। सब लोग राजकुमारी का उत्तर सुन कर बहुत खुश हो गए थे , रानी सुमेधा ने कहा ये तो ब...

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यक्ष By Renu

यक्ष एक अर्ध देवयोनि (नपुंसक लिंग) है जिसका उल्लेख ऋग्वेद में हुआ है। उसका अर्थ है 'जादू की शक्ति'। 'यच' सम्भवत: 'यक्ष' का ही एक प्राकृत रूप है। अतएव सम्भवत...

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गोविंदा गायकवाड By Ankush Shingade

त्या तमाम अस्पृश्य समाजाला सादर समर्पीतGOVINDA GAIKAWADगोविंदा गोपाळ गायकवाड उर्फ गणपत महारप्रकाशक--अंकुश शिंगाडे १२२ बी गजानन नगर भरतवाडा रोड नागपूर ४४००३५ मो नं ९३७३३५९४५०अक्षरजु...

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अर्जुन By Renu

अर्जुन महाभारत के मुख्य पात्र थे। महाराज पांडु एवं रानी कुन्ती के वह तीसरे पुत्र और सबसे अच्छे धर्नुधारी थे। वे द्रोणाचार्य के श्रेष्ठ शिष्य थे। जीवन में अनेक अवसरों पर अर्जुन ने इ...

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इरावत By Renu

इरावत अर्जुन तथा नागराज की कन्या उलूपी का पुत्र था। इसने महाभारत के युद्ध में महाबली राजकुमार विंद और अनुविंद को हरा दिया था।महाभारत के युद्ध में इरावत ने सुबल के पुत्रों अर्थात शक...

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जब हनुमान ने तीनों का घमण्ड चूर किया By Rajiya

संसार में किसी का कुछ नहीं| ख्वाहमख्वाह अपना समझना मूर्खता है, क्योंकि अपना होता हुआ भी, कुछ भी अपना नहीं होता| इसलिए हैरानी होती है, घमण्ड क्यों? किसलिए? किसका? कुछ रुपये दान करने...

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श्रीकृष्ण मणि By Rajiya

श्रीकृष्ण मणिएक बार भगवान श्रीकृष्ण बलरामजी के साथ हस्तिनापुर गए। उनके हस्तिनापुर चले जाने के बाद अक्रूर और कृतवर्मा ने शतधन्वा को स्यमंतक मणि छीनने के लिए उकसाया। शतधन्वा बड़े दुष...

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एकलव्य By Renu

एकलव्य एक निषाद बालक था, जो कि अद्भुत धर्नुधर बन गया था। वह द्रोणाचार्य को अपना इष्ट गुरु मानता था और उनकी मूर्ति बनाकर उसके सामने अभ्यास कर धर्नुविद्या में पारंगत हो गया था। अर्जु...

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रावण का जन्म By Rajiya

जब श्रीराम अयोध्या में राज्य करने लगे तब एक दिन समस्त ऋषि-मुनि श्रीरघुनाथजी का अभिनन्दन करने के लिये अयोध्यापुरी में आये। श्रीरामचन्द्रजी ने उन सबका यथोचित सत्कार किया। वार्तालाप क...

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अश्वत्थामा By Renu

अश्वत्थामा पाण्डवों और कौरवों के गुरु द्रोणाचार्य के पुत्र थे। द्रोणाचार्य ने भगवान शिव को अपनी तपस्या से प्रसन्न करके उन्हीं के अंश से अश्वत्थामा नामक पुत्र को प्राप्त किया था। इन...

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जब हनुमान से हारे शनि By Rajiya

शनि के नाम से ही हर व्यक्ति डरने लगता है। शनि की दशा एक बार शुरू हो जाए तो साढ़ेसात साल बाद ही पीछा छोड़ती है। लेकिन हनुमान भक्तों को शनि से डरने की तनिक भी जरूरत नहीं। शनि ने हनुम...

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अभिमन्यु By Renu

अभिमन्यु महाभारत के महत्त्वपूर्ण पात्र थे, जो पाँच पांडवों में से अर्जुन के पुत्र थे। उनका छल द्वारा कारुणिक अंत बताया गया है। अभिमन्यु महाभारत के नायक अर्जुन और सुभद्रा, जो बलराम...

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योद्धा अश्वत्थामा By Rajiya

अश्वत्थामा द्रोणाचार्य का पुत्र था| कृपी उसकी माता थी| पैदा होते ही वह अश्व की भांति रोया था| इसलिए अश्व की भांति स्थाम (शब्द) करने के कारण उसका नाम अश्वत्थामा पड़ा था| वह बहुत ही...

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कुरु By Renu

कुरु महाभारत में वर्णित 'कुरु वंश' के प्रथम पुरुष कहे जाते हैं। वे बड़े प्रतापी और तेजस्वी राजा थे। उन्हीं के नाम पर कुरु वंश की शाखाएँ निकलीं और विकसित हुईं। एक से एक प्रत...

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शौर्य अभिमन्यु By Rajiya

अभिमन्यु अर्जुन का पुत्र था| श्रीकृष्ण की बहन सुभद्रा इनकी माता थी| यह बालक बड़ा होनहार था| अपने पिता के-से सारे गुण इसमें विद्यमान थे| स्वभाव का बड़ा क्रोधी था और डरना तो किसी से...

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राजा दाहिर By Ankush Shingade

राजा दाहिर तो काळा दिवस होता त्या सिंध प्रांतियांसाठी. कारण त्यांचा राजा मरुन गेला होता. आज सिंध पाकिस्तान मध्ये आहे. परंतू त्या राजाच्या बलिदानाची कहाणी आज पूर्ण जगात जन्म घेत आहे...

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रामायण की कथा भजन के माध्यम से मेरे शब्दों में - 4 By Dave Rup

जनक दुलारी कुलवधू दशरथजी की,राजरानी होके दिन वन में बिताती है,रहते थे घेरे जिसे दास दासी आठों याम,दासी बनी अपनी उदासी को छुपाती है,धरम प्रवीना सती, परम कुलीना,सब विधि दोष हीना जीना...

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उर्मीला By Ankush Shingade

मनोगत 'उर्मीला' ही माझी साहित्य विश्वातील एक्कावनवी पुस्तक असून पंचवीसवी कादंबरी आहे. ही कादंबरी वाचकांपुढं ठेवून मी या माध्यमातून एका पौराणिक विषयाला हातात घेतलं आहे. कादं...

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शांता By Ankush Shingade

SHANTAशांताप्रकाशक - अंकुश शिंगाडे१२२ बी गजानन नगर भरतवाडा कळमना मार्केट रोड नागपूर ४४००३५मुल्य - ६० ₹प्रथमावृत्ती ०१/०१/२०२१मुखपृष्ठ - कु. अनुष्काशांतासारख्या शोषीतांना सादर समर्प...

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राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा - 6 By Kishanlal Sharma

और कुटिया से बाहर आते ही रावण ने उसका अपहरण कर लियारावण सीता को पुष्पक विमान से लंका ले गया था।साम्यवादी विचारधारा के औऱ अपने को प्रगतिशील कहने वालों के तर्क आपने सुने होंगेकुछ इति...

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सुजाता By Ankush Shingade

मनोगत 'सुजाता' नावाची कादंबरी वाचकांच्या हाती देतांना अत्यंत आनंद प्राप्त होता आहे. कारण सुजाता ही कादंबरी नाही एक मार्गदर्शन आहे. ते एक व्यक्तीचित्रण नाही तर ते परीवर्तन आ...

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स्वामी हरिदास (हरिपुरुषजी) By Renu

भारतीय प्रदेश में पंद्रहवीं, सोलहवीं, सत्रहवीं शताब्दियां विशेष महत्‍वप्रद रही हैं। इनमें अनेकों ईश्‍वर के परम भक्त एवं अनेकों संत-महात्‍मा अवतरित हुए। नानक, कबीर, नामदेव, रैदास, द...

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PANDORA'S BOX - Survival Of A Hundred Misfortunes - 2 By Asavela Prince

Chapter 2A Blending TempestWith a distrustful articulation, Imprint went to Leo."What do you mean by that? The point of interaction closely resembles a game's point of interact...

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भगवतगीता ( सम्पूर्ण हिंदी में ) By Stylish Aishwarya

अध्याय 1 - अर्जुन विषाद योग    धृतराष्ट्र बोले- हे संजय! धर्मभूमि कुरुक्षेत्र में एकत्रित, युद्ध की इच्छावाले मेरे और पाण्डु के पुत्रों ने क्या किया?   संजय बोले- उस समय राजा दुर्य...

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पौराणिक कथाये - 31- फल्गुन शुक्ल आमलकी एकादशी By Devaki Ďěvjěěţ Singh

आमलकी एकादशी फाल्गुन मास में मनाई जाती है इसलिए इसे फाल्गुन शुक्ल एकादशी भी कहा जाता है। साथ ही इसे रंगभरी एकादशी के नाम से भी जाना जाता हैआमलकी एकादशी के दिन, भक्त आंवला के पेड़ क...

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भक्त सखा श्री सुग्रीवजी By Renu

श्रीसुग्रीव जी न सर्वे भ्रातरस्तात भवन्ति भरतोपमाः। मद्विधा वा पितुः पुत्राः सुहृदो वा भवद्विधाः॥ श्रीराम जी सुग्रीवसे कहते हैं—‘भैया! सब भाई भरत के समान आदर्श नहीं हो सकते। सब पुत...

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बर्बरीक By Renu

बर्बरीक महान पाण्डव भीम के पुत्र घटोत्कच और नाग कन्या अहिलवती के पुत्र थे। कहीं-कहीं पर मुर दैत्य की पुत्री 'कामकंटकटा' के उदर से भी इनके जन्म होने की बात कही गई है। इनके ज...

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गीत रामायणा वरील विवेचन - 47 - लंकेवर काळ कठीण आज पातला By Kalyani Deshpande

युद्ध अखंड सुरू असते. वानरसेना राक्षस सेना एकमेकांना शस्त्राने उत्तर देत होती.इकडे मेघनाद राम व लक्ष्मणांना नागपाश बाणाने बंदिस्त करतो त्यामुळे वानर सेनेत गोंधळ आणि दैत्य सेनेत विज...

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राजकुमारी शिवन्या - भाग 23 By Mansi

भाग २३ अब तक आपने देखा की राजकुमारी ने इस विवाह के लिए उत्तर में हा कहा था अब आगे की कहानी देखते है। सब लोग राजकुमारी का उत्तर सुन कर बहुत खुश हो गए थे , रानी सुमेधा ने कहा ये तो ब...

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यक्ष By Renu

यक्ष एक अर्ध देवयोनि (नपुंसक लिंग) है जिसका उल्लेख ऋग्वेद में हुआ है। उसका अर्थ है 'जादू की शक्ति'। 'यच' सम्भवत: 'यक्ष' का ही एक प्राकृत रूप है। अतएव सम्भवत...

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गोविंदा गायकवाड By Ankush Shingade

त्या तमाम अस्पृश्य समाजाला सादर समर्पीतGOVINDA GAIKAWADगोविंदा गोपाळ गायकवाड उर्फ गणपत महारप्रकाशक--अंकुश शिंगाडे १२२ बी गजानन नगर भरतवाडा रोड नागपूर ४४००३५ मो नं ९३७३३५९४५०अक्षरजु...

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अर्जुन By Renu

अर्जुन महाभारत के मुख्य पात्र थे। महाराज पांडु एवं रानी कुन्ती के वह तीसरे पुत्र और सबसे अच्छे धर्नुधारी थे। वे द्रोणाचार्य के श्रेष्ठ शिष्य थे। जीवन में अनेक अवसरों पर अर्जुन ने इ...

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इरावत By Renu

इरावत अर्जुन तथा नागराज की कन्या उलूपी का पुत्र था। इसने महाभारत के युद्ध में महाबली राजकुमार विंद और अनुविंद को हरा दिया था।महाभारत के युद्ध में इरावत ने सुबल के पुत्रों अर्थात शक...

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जब हनुमान ने तीनों का घमण्ड चूर किया By Rajiya

संसार में किसी का कुछ नहीं| ख्वाहमख्वाह अपना समझना मूर्खता है, क्योंकि अपना होता हुआ भी, कुछ भी अपना नहीं होता| इसलिए हैरानी होती है, घमण्ड क्यों? किसलिए? किसका? कुछ रुपये दान करने...

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श्रीकृष्ण मणि By Rajiya

श्रीकृष्ण मणिएक बार भगवान श्रीकृष्ण बलरामजी के साथ हस्तिनापुर गए। उनके हस्तिनापुर चले जाने के बाद अक्रूर और कृतवर्मा ने शतधन्वा को स्यमंतक मणि छीनने के लिए उकसाया। शतधन्वा बड़े दुष...

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एकलव्य By Renu

एकलव्य एक निषाद बालक था, जो कि अद्भुत धर्नुधर बन गया था। वह द्रोणाचार्य को अपना इष्ट गुरु मानता था और उनकी मूर्ति बनाकर उसके सामने अभ्यास कर धर्नुविद्या में पारंगत हो गया था। अर्जु...

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रावण का जन्म By Rajiya

जब श्रीराम अयोध्या में राज्य करने लगे तब एक दिन समस्त ऋषि-मुनि श्रीरघुनाथजी का अभिनन्दन करने के लिये अयोध्यापुरी में आये। श्रीरामचन्द्रजी ने उन सबका यथोचित सत्कार किया। वार्तालाप क...

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अश्वत्थामा By Renu

अश्वत्थामा पाण्डवों और कौरवों के गुरु द्रोणाचार्य के पुत्र थे। द्रोणाचार्य ने भगवान शिव को अपनी तपस्या से प्रसन्न करके उन्हीं के अंश से अश्वत्थामा नामक पुत्र को प्राप्त किया था। इन...

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जब हनुमान से हारे शनि By Rajiya

शनि के नाम से ही हर व्यक्ति डरने लगता है। शनि की दशा एक बार शुरू हो जाए तो साढ़ेसात साल बाद ही पीछा छोड़ती है। लेकिन हनुमान भक्तों को शनि से डरने की तनिक भी जरूरत नहीं। शनि ने हनुम...

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अभिमन्यु By Renu

अभिमन्यु महाभारत के महत्त्वपूर्ण पात्र थे, जो पाँच पांडवों में से अर्जुन के पुत्र थे। उनका छल द्वारा कारुणिक अंत बताया गया है। अभिमन्यु महाभारत के नायक अर्जुन और सुभद्रा, जो बलराम...

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योद्धा अश्वत्थामा By Rajiya

अश्वत्थामा द्रोणाचार्य का पुत्र था| कृपी उसकी माता थी| पैदा होते ही वह अश्व की भांति रोया था| इसलिए अश्व की भांति स्थाम (शब्द) करने के कारण उसका नाम अश्वत्थामा पड़ा था| वह बहुत ही...

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कुरु By Renu

कुरु महाभारत में वर्णित 'कुरु वंश' के प्रथम पुरुष कहे जाते हैं। वे बड़े प्रतापी और तेजस्वी राजा थे। उन्हीं के नाम पर कुरु वंश की शाखाएँ निकलीं और विकसित हुईं। एक से एक प्रत...

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शौर्य अभिमन्यु By Rajiya

अभिमन्यु अर्जुन का पुत्र था| श्रीकृष्ण की बहन सुभद्रा इनकी माता थी| यह बालक बड़ा होनहार था| अपने पिता के-से सारे गुण इसमें विद्यमान थे| स्वभाव का बड़ा क्रोधी था और डरना तो किसी से...

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राजा दाहिर By Ankush Shingade

राजा दाहिर तो काळा दिवस होता त्या सिंध प्रांतियांसाठी. कारण त्यांचा राजा मरुन गेला होता. आज सिंध पाकिस्तान मध्ये आहे. परंतू त्या राजाच्या बलिदानाची कहाणी आज पूर्ण जगात जन्म घेत आहे...

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रामायण की कथा भजन के माध्यम से मेरे शब्दों में - 4 By Dave Rup

जनक दुलारी कुलवधू दशरथजी की,राजरानी होके दिन वन में बिताती है,रहते थे घेरे जिसे दास दासी आठों याम,दासी बनी अपनी उदासी को छुपाती है,धरम प्रवीना सती, परम कुलीना,सब विधि दोष हीना जीना...

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उर्मीला By Ankush Shingade

मनोगत 'उर्मीला' ही माझी साहित्य विश्वातील एक्कावनवी पुस्तक असून पंचवीसवी कादंबरी आहे. ही कादंबरी वाचकांपुढं ठेवून मी या माध्यमातून एका पौराणिक विषयाला हातात घेतलं आहे. कादं...

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शांता By Ankush Shingade

SHANTAशांताप्रकाशक - अंकुश शिंगाडे१२२ बी गजानन नगर भरतवाडा कळमना मार्केट रोड नागपूर ४४००३५मुल्य - ६० ₹प्रथमावृत्ती ०१/०१/२०२१मुखपृष्ठ - कु. अनुष्काशांतासारख्या शोषीतांना सादर समर्प...

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राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा - 6 By Kishanlal Sharma

और कुटिया से बाहर आते ही रावण ने उसका अपहरण कर लियारावण सीता को पुष्पक विमान से लंका ले गया था।साम्यवादी विचारधारा के औऱ अपने को प्रगतिशील कहने वालों के तर्क आपने सुने होंगेकुछ इति...

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सुजाता By Ankush Shingade

मनोगत 'सुजाता' नावाची कादंबरी वाचकांच्या हाती देतांना अत्यंत आनंद प्राप्त होता आहे. कारण सुजाता ही कादंबरी नाही एक मार्गदर्शन आहे. ते एक व्यक्तीचित्रण नाही तर ते परीवर्तन आ...

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स्वामी हरिदास (हरिपुरुषजी) By Renu

भारतीय प्रदेश में पंद्रहवीं, सोलहवीं, सत्रहवीं शताब्दियां विशेष महत्‍वप्रद रही हैं। इनमें अनेकों ईश्‍वर के परम भक्त एवं अनेकों संत-महात्‍मा अवतरित हुए। नानक, कबीर, नामदेव, रैदास, द...

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PANDORA'S BOX - Survival Of A Hundred Misfortunes - 2 By Asavela Prince

Chapter 2A Blending TempestWith a distrustful articulation, Imprint went to Leo."What do you mean by that? The point of interaction closely resembles a game's point of interact...

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भगवतगीता ( सम्पूर्ण हिंदी में ) By Stylish Aishwarya

अध्याय 1 - अर्जुन विषाद योग    धृतराष्ट्र बोले- हे संजय! धर्मभूमि कुरुक्षेत्र में एकत्रित, युद्ध की इच्छावाले मेरे और पाण्डु के पुत्रों ने क्या किया?   संजय बोले- उस समय राजा दुर्य...

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पौराणिक कथाये - 31- फल्गुन शुक्ल आमलकी एकादशी By Devaki Ďěvjěěţ Singh

आमलकी एकादशी फाल्गुन मास में मनाई जाती है इसलिए इसे फाल्गुन शुक्ल एकादशी भी कहा जाता है। साथ ही इसे रंगभरी एकादशी के नाम से भी जाना जाता हैआमलकी एकादशी के दिन, भक्त आंवला के पेड़ क...

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भक्त सखा श्री सुग्रीवजी By Renu

श्रीसुग्रीव जी न सर्वे भ्रातरस्तात भवन्ति भरतोपमाः। मद्विधा वा पितुः पुत्राः सुहृदो वा भवद्विधाः॥ श्रीराम जी सुग्रीवसे कहते हैं—‘भैया! सब भाई भरत के समान आदर्श नहीं हो सकते। सब पुत...

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