अब आगे
सिया कैंटीन में बैठी अपनी किताबों में खोई हुई थी। अचानक उसके कानों में एक तेज़ गाड़ी की आवाज़ पड़ी। बाहर एक काली एसयूवी गेट के पास आकर रुकती है। उस कार को देख कर ही सिया का दिल ज़ोर से धड़क उठा। उसके मन में अजीब सा डर और बेचैनी फैल गई।
उसे तुरंत उस रात का वो खौफनाक मंजर याद आ गया, जब उसने पहली बार अंश को देखा था और उसकी आँखों में उस क्रूर गुस्से को महसूस किया था।
उधर, अंश कॉलेज के डीन से मिलने आया था। अंश जोकि बहुत स्टाइल में कार से उतरता है। और डीन से मिलने चला जाता है। क्योंकि उसकी बहन, हर्षिता, की शिकायतें लगातार बढ़ती जा रही थीं। डीन अंश की इज्जत और डर, दोनों करता था। आखिर कॉलेज अंश के इशारों पर ही चलता था। अपनी बहन का मामला सॉल्व करने के बाद, अंश अपनी एसयूवी की तरफ आ जाता है।
उसने सिया को नहीं देखा था। क्योंकि उससे डीन से बात करनी थी। और वो यहां जल्दबाजी में आया था इसलिए उसका ध्यान सिया पर नहीं जाता है। वो आता है। गाड़ी में बैठ जाता है। तब ही कबीर बोलता है। "भाई, वो लड़की भी यहीं पढ़ती है... नाम याद नहीं आ रहा उसका।"
अंश ने थोड़ी देर सोचा, और फिर कबीर को सवालिया निगाहों से देखा। तभी कबीर ने कहा, "भाई, उसी लड़की की बात कर रहा हूँ जो उस इवेंट वाली रात थी। जिस रात आप पर हमला हुआ था।"
अंश का चेहरा गंभीर हो गया। उसे तुरंत सिया का वो मासूम और डरा हुआ चेहरा याद आ गया। कुछ पलों के लिए उसने गहरी साँस ली, लेकिन कुछ कहा नहीं। इसके बजाय, उसने गाड़ी स्टार्ट करने का इशारा किया और ऑफिस जाने को कहा।
ऑफिस पहुँचकर, अंश ने आदित्य को बुलाया और पूछा , "जो काम तुझे दिया था, वो पूरा हुआ या नहीं?" आदित्य ने सिर झुकाकर जवाब दिया, "भाई, सब कुछ प्लान के मुताबिक हो रहा है। तभी अंश कहता है " राघव को अब तक का सबसे कड़ा जवाब चाहिए। मैंने जो कहा था, वो सब हो जाना चाहिए।
हर वो आदमी जो राघव के साथ मिला है, उसकी हरकतों पर नजर रखी जाए। कोई गलती नहीं होनी चाहिए।" आदित्य ने सिर हिलाते हुए कहा, "भाई, राघव के एक नए साथी के बारे में पता चला है – उसका नाम करण है।
ये इंसान भी छोटे-मोटे धंधों में बहुत नाम कमा चुका है और फिलहाल राघव का दाहिना हाथ बन गया है।"
अंश के चेहरे पर हल्की मुस्कान आई और उसने कहा, "अच्छा! तो अब राघव ने एक और प्यादा ढूंढ लिया है। करण की हर एक चाल को समझना है। मुझे उसकी हर हरकत की खबर चाहिए।" ये बोल कर अंश एक राहत की साँस लेता है , लेकिन उसके मन में सिया का चेहरा बार-बार आ रहा था । वो समझ नहीं पा रहा था कि आखिर क्यों, लेकिन कहीं न कहीं वो लड़की उसके दिमाग में जगह बना चुकी थी।
तो देखते है। आगे क्या होता है । जाने के लिए पड़ते रहिए Venom Mafiya मिलते है। Next part मैं।