एक दिन का प्यार
कहानी एक छोटे से शहर की है, जहाँ हर सुबह सूरज की पहली किरणों के साथ लोग अपने-अपने काम में लग जाते हैं। इस शहर में एक कॉलेज था, जहाँ हर साल नए-नए छात्र दाखिला लेते थे। इस कॉलेज में एक लड़का था, जिसका नाम था अजय। अजय पढ़ाई में बहुत अच्छा था, लेकिन उसे हमेशा से एक ही चीज़ की कमी महसूस होती थी—प्यार।
एक दिन, कॉलेज में वार्षिक उत्सव का आयोजन किया गया। सभी छात्र इस उत्सव की तैयारी में लगे थे। अजय भी उत्सव के लिए तैयारियों में जुट गया। वह अपने दोस्तों के साथ मिलकर कार्यक्रम की योजना बनाने लगा। तभी उसकी नजर कॉलेज के एक कोने में बैठी एक लड़की पर पड़ी। वह लड़की थी सिया, जो नई छात्रा थी। उसकी मुस्कान में एक खास जादू था, जिसने अजय का दिल छू लिया।
अजय ने सोचा कि उसे सिया से बात करनी चाहिए। उसने अपने दोस्तों से कहा, "यार, मुझे उस लड़की से बात करनी है।" उसके दोस्तों ने उसे हिम्मत दी और कहा, "चलो, हम तुम्हारे साथ चलते हैं।"
अजय और उसके दोस्त सिया के पास गए। अजय ने हिम्मत जुटाकर कहा, "हाय, मैं अजय हूँ। क्या तुम वार्षिक उत्सव के कार्यक्रम में भाग ले रही हो?" सिया ने मुस्कुराते हुए कहा, "हां, मैं भी इसमें शामिल होने वाली हूँ।"
अजय और सिया के बीच बातचीत शुरू हुई। दोनों ने अपनी पसंदीदा किताबों, फिल्मों और शौकों के बारे में बात की। अजय को पता चला कि सिया भी पढ़ाई में बहुत अच्छी है और उसे कला में रुचि है। धीरे-धीरे उनकी बातचीत बढ़ने लगी और दोनों के बीच एक अनकही सी दोस्ती का आरंभ हुआ।
उत्सव का दिन आया और कॉलेज का माहौल रंग-बिरंगी रोशनी से जगमगा उठा। अजय ने सिया को अपने दोस्तों के साथ मिलकर डांस करने के लिए आमंत्रित किया। सिया ने खुशी-खुशी स्वीकार कर लिया। दोनों ने मिलकर डांस किया और इस दौरान उनकी आंखों में एक खास चमक थी।
जैसे-जैसे दिन बीतता गया, अजय और सिया एक-दूसरे के करीब आते गए। उन्होंने साथ में खाना खाया, हंसी-मजाक किया और अपने सपनों के बारे में बात की। अजय ने महसूस किया कि वह सिया के बिना एक पल भी नहीं रह सकता। सिया की मासूमियत और उसकी बातें अजय को बहुत भाती थीं।
दिन खत्म होने लगा और रात का अंधेरा छाने लगा। उत्सव में सभी छात्र एकत्रित हुए थे और अंत में एक बड़ा फायरवर्क शो हुआ। अजय ने सिया का हाथ पकड़ा और उसे फायरवर्क्स देखने के लिए ले गया। आकाश में रंग-बिरंगे पटाखे फट रहे थे, और दोनों ने उस खूबसूरत दृश्य का आनंद लिया।
अजय ने उस पल का फायदा उठाते हुए कहा, "सिया, क्या तुम जानती हो? मैंने आज तुम्हारे साथ बिताए हर पल को बहुत खास माना है।" सिया ने मुस्कुराते हुए कहा, "मैंने भी यही महसूस किया है, अजय।"
फायरवर्क्स खत्म होने के बाद, अजय ने हिम्मत जुटाकर कहा, "क्या तुम मुझसे एक वादा करोगी?" सिया ने चौंकते हुए पूछा, "क्या वादा?" अजय ने कहा, "इस एक दिन के बाद भी हम दोस्त बने रहेंगे और एक-दूसरे से मिलते रहेंगे?"
सिया ने बिना किसी हिचकिचाहट के कहा, "हां, मैं वादा करती हूँ।" उस रात दोनों ने एक-दूसरे से अपने दिल की बात साझा की और यह तय किया कि वे हमेशा एक-दूसरे के साथ रहेंगे।
लेकिन जैसा कि हर कहानी में होता है, अगले दिन सिया को अपने परिवार के साथ दूसरे शहर जाना पड़ा। अजय का दिल टूट गया, लेकिन उसने सोचा कि यह सिर्फ एक दिन का प्यार है। उसने सिया को विदाई दी और उसके जाने के बाद उसे एहसास हुआ कि वह उसे कितना याद करेगा।
सिया चली गई, लेकिन अजय का दिल अभी भी उसी दिन के खूबसूरत पलों में बसा हुआ था। उसने सोचा कि भले ही उनका प्यार सिर्फ एक दिन का था, लेकिन वह हमेशा उसके दिल में रहेगा।
कुछ महीनों बाद, अजय ने कॉलेज की पढ़ाई पूरी की और अपने करियर की ओर बढ़ा। लेकिन वह कभी भी सिया को नहीं भूला। उसने अपने दिल में एक खास जगह बनाई रखी थी।
एक दिन अचानक उसे फेसबुक पर सिया का प्रोफाइल मिला। उसने उसे फ्रेंड रिक्वेस्ट भेजी और कुछ ही समय बाद सिया ने उसे स्वीकार कर लिया। दोनों ने फिर से बातचीत शुरू की और अपनी ज़िंदगी के बारे में एक-दूसरे को अपडेट करने लगे।
अजय ने सिया को बताया कि वह उसे कितना याद करता है और कैसे वह हमेशा उसके दिल में बसी हुई है। सिया ने भी उसी तरह की भावनाएँ व्यक्त कीं। उन्होंने तय किया कि वे फिर से मिलेंगे।
कुछ दिनों बाद, अजय ने सिया से मिलने का प्लान बनाया। जब वे मिले, तो उनकी आँखों में वही पुरानी चमक थी। उन्होंने अपने प्यार को फिर से जीवित किया और यह समझा कि कभी-कभी प्यार सिर्फ एक दिन का नहीं होता; वह समय के साथ बढ़ता है।
इस प्रकार, अजय और सिया का एक दिन का प्यार अब एक खूबसूरत रिश्ते में बदल गया था। उन्होंने यह सीखा कि प्यार कभी भी समय या दूरी की सीमाओं को नहीं मानता; वह बस दिलों में बसा रहता है।
समाप्त