Undekha Rahashy - 1 in Hindi Horror Stories by Bhavika Rathod books and stories PDF | अनदेखा रहस्य - भाग 1

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अनदेखा रहस्य - भाग 1

यह कहानी एक परिवार की हैं। जो हमेशा हस्ता खेलता और खुशी से रहता परिवार था। पता नही किसकी नजर लग गई इस प्यारे से परिवार को जो इतना मुस्किल वक्त आया कि कहानी ही पलट गई।

परिचय 😊

मां का नाम: जानकी

पिता का नाम: गौतम

बेटी का नाम: मानवी

बेटे का नाम: प्रिन्स

यह परिवार मे ४ लोग रहते हैं, माता जानकी, पिता गौतम, बेटी मानवी और बेटा प्रिन्स यह सब बहुत खुस रहते थे साथ में ।

चलो,

अब इस कहानी पर आते है , आज कल की जनरेसन मे हम नजर लगना, भूत, प्रेत का होना, नींबू में पाव रखना, या फिर काला साया, काली विद्या, इस सब को नहीं मानते हम.....

अब इस कहानी में इस डरावनी कहानी हैं जो सुन कर भी डर लगता हैं, और याद करने पर भी रूह काप उठती हैं वैसे ही इस कहानी का मोड़ बहुत ही भयानक और डरवाना हैं|

तो चलो अब आगे बढ़ते हैं कहानी पर.....

गौतम बहुत ही अच्छा और नेक इंसान था। वह एक बिजनेस मैन था। ना किसी बात की कमी थी ना उसके स्वभाव में कोई कमी थी। उसके परिवार मे उसके माता पिता और बहन थे पर गौतम बिजनेस के कारण बहुत ज्यादा बाहर ही रहता था। उसके माता पिता अब उसकी सादी करवाना चाहते थे।लेकिन गौतम को अपने बिजनेस से फुरसत मिले तब वो सादी की सोचे ना...!

वो सादी से ज्यादा पैसे कमाने पर बिलीव करता था जो उसकी लाइफ को बेहतर बना रही थी। वो उसकी ईमानदारी और बेस्ट नेचर के कारण थे।

एक दिन वह लंदन से अपने घर पर आया।बहुत ही खुश था।इतने दिनो के बाद अपने माता, पिता और बहन को मिलने वाला था। खुश तो होगा ही।

वो जैसे ही घर पहुंचा उसके माता पिता और बहन। ने उसका खुशी से स्वागत किया और उसके मनपसंद भोजन बनाए थे वह फ्रेश होके सब खाना खाने बैठे।इस ही दिन गुजरते गए फिर एक दिन उसके पिता ने उसे सादी की बात की....

गौतम इस बात से बेहद नाराज हो गया। कहने लगा मुझे मेरा कैरियर बनाना है में सादी नही करना चाहता। उसकी माता बोली देख बेटा हमारी उम्र निकलती जा रही हैं आखिर तेरी बहन को भी तो बिदा करना हैं। इस बात से उसने बोला ठीक हैं में सोच के जवाब देता हू। ऐसा बोलते ही वो अपने कमरे में चला गया।

सुबह उठते ही उसने सोच समझ कर अपना जवाब दिया उसने अपने माता पिता को बोला ठीक है।में त्यार हू सादी के लिए आखिर उसने हा बोल ही दिया। उसे अपनी बहन का भी ख्याल रहता था। इसलिए सादी के लिए वो मान गया।

सब बहुत खुस थे। क्युकी इतने साल बाद वो सादी के लिए माना था।उसके मम्मी पापा ने उसके लिए लड़की देखना शुरू किया।

एक दिन उसके पास जानकी नाम की लड़की का रिश्ता आया। दोनो परिवार ने मिलके एक दिन दोनो को एक दूसरे से मिलवाया और परिवार भी आपस मे मिले । गौतम के परिवार को जानकी पसंद आ गई थी और जानकी के परिवार को गौतम पसंद आ गया।

अब बात करते है । जानकी की जो एक पढ़ी लिखी ओर बहुत ही सीधी साधी लड़की थी।वो एक टीचर थी। जो छोटे छोटे बचो को पढ़ाने जाती थी।

जानकी और गौतम दोनो एक दूसरे से मिलना चाहते थे। गौतम ने यह बात अपनी बहन को बताई की वो जानकी से मिलना चाहता है।जानकी भी गौतम से मिलना चाहती थी। गौतम की बहन ने जानकी का फोन नंबर लिया और उनसे मजाक करते हुए बोली ! बहुत जल्द ही मेरे भैया आप को कॉल करेंगे।जानकी भी यह सुनकर मुस्कुराने लगी। वह सिर्फ हस्ती रही। फिर एक दिन गौतम ने वक्त निकाल कर जानकी को फोन लगाया।जानकी को फोन लगाने पर वह बहुत ही डर रहा था! क्युकी आज तक उसने किसी लड़की से बात नहीं की थी।लेकिन फोन लगा ही दिया।

जानकी ने फोन उठाया......

गौतम: हेलो जानकी,

जानकी: जी कोन,

गौतम: में गौतम बोल रहा हु!

जानकी: डरते हुए आवाज में बोली, हा बोलिए गौतम जी, आखिर आपको वक्त मीला मुझसे बात करने के लिए।

गौतम: हस्ते हुए आवाज में नही ! नही! ऐसी कोई बात नही है! बिजनेस के चक्कर में में फ्री नही रहता।

जानकी: हा बिजनेस मैन तो आप ही हो।

गौतम: हस्ते हुए बोला ! क्यू बिजनेस मैन लड़के नही पसंद तुमको?

जानकी : नही! नही! ऐसी कोई बात नही है!

गौतम: तो कैसी बात है?

जानकी: हस्ते हुए बोली आखिर मुझे पसंद भी एक बिजनेस मैन लड़का ही आया है!

गौतम: मन में हस्ते हुए २ मिनिट चुप रहा।

जानकी: क्या हुवा मेरी बात का बुरा लगा या में पसंद नहीं आई!

गौतम: नही! नही ऐसी बात नही है: तुम मुझे पसंद करती हो क्या?

जानकी : सरमाते हुए बोली जी हा 🥰 पर सायद आप को में पसंद नहीं हू?

गौतम: बिलकुल पसंद हो इतनी सीधी साधी लड़की को कोन पसंद न करे? वो भी हस्ते हुए बोला! मुझे भी तुम पसंद हो 🥰

अब ऐसे ही दोनो की बात चीत आगे बढ़ने लगी और दोनो अपना अपना वक्त एक दूसरे को देने लगे।

लग रहा था जैसे लव मैरिज है। वैसी बाते वैसी यादें। मिलना, घंटो तक बाते करना एक दूसरे के साथ टाइम निकलना ।

एक दिन दोनो ने अपने परिवार को बता दिया की अब हम तैयार है इस रिश्ते के लिए । परिवार वाले भी बहुत खुस हुए यह सुनकर। फिर परिवार वाले सगाई की तैयारी करने लगे ।

३६ दिसम्बर २००१ को उसकी सगाई रखी गई। बहुत धूम धाम से सगाई की सब बहुत ही खुस थे।

फिर दोनो परिवार ने मिलके फैसला लिया की अगले साल सादी करा दे।परिवार वाले बिलकुल राजी थे दोनो के परिवार वाले हा बोल दिया।

वैसे ही एक साल गुजर गया। गौतम और जानकी में प्यार भी बहुत बढ़ गया। एक दूसरे के बिना रह नहीं पाते थे।

३ फरवरी २००२ में उसकी सादी कि तारीख रखी गई।

सादी के दिन बहुत ही नजदीक आने लगे। ओर दोनो परिवार खुश भी बहुत थे।

फिर एक बार एक डरावनी रात जो किसी ने सपने में भी नही सोचा था वैसा हूवा.....! यही से डर की सच्ची कहानी दिखेगी आप को.... भाग २ मे.....

Bhavika Rathod 😊