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जायदाद
यह अपने पति को किसी और के लिए धोखा दे रहीं थीं l मैंने दोनों को देखा और वीडियो बनाकर चिराग को दिखा दीं l चिराग़ और मैंने एक साथ इंटर्नशिप की थीं l अभिमन्यु ने धीमी आवाज़ में कहा,
अब क्या कर रहीं है यह ?
शायद किसी रंजन मालिक के साथ लिव इन में रह रहीं है l
यह रंजन मलिक वहीं है जो वीडियो में है l
हाँ, वहीं है l तभी तन्मय और राघव हाथ में खाने की ट्रे लेकर आ गए l दोनों ने उन्हें देखा तो अपनी बात का विषय बदल दिया l
राजीव सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर अभिषेक कपूर को ढूँढ रहा है l मगर हर जगह उसे निराशा हाथ लगी है l उसने नैना के प्रोफाइल में भी ढूँढ लिया , मगर कोई फ़ायदा नहीं हुआ l उसने चिढ़ते हुए कहा, कैसे पता लगाओ कि नैना उसी के साथ जर्मनी गई है l तभी उसने जमाल को फ़ोन किया और कहाँ कि वह अभिषेक कपूर के बारे में पता लगाए l जमाल ने हाँ तो कह दीं, मगर एक लाख रुपए भी माँगे l काम की इतनी ऊँची कीमत सुनकर राजीव बिदक गया और उसे सोचकर बताने का कहकर फ़ोन रख दियाl
राजेन्द्र बिश्नोई का बड़ा भाई मनोहर बिश्नोई रुद्राक्ष से पुलिस स्टेशन में मिलने आया l
जी, मेरे भाई के कातिल का कुछ पता लगा?
जिस दिन लगेगा, उस दिन सबसे पहले आपको ही पता लगेगा l
वैसे मुझे कहना तो नहीं चाहिए, मगर मुझे अपने मंझले भाई किशन पर शख है l
अच्छा ! उमा जी तो आपके बारे में मुझे बोल रहीं थीं l
वो औरत थोड़ी न है, वो तो नागिन है नागिन l जब देखो, ज़हर उगलती रहती है l मनोहर ने दाँत पीसते हुए कहा l
आप यह बताए, आप किसी नैना राठौर को जानते है?
नैना सिंह? जिनकी अपनी शॉपींग वेबसाइट है ?
जी वहीं,
वह तो मेरे भाई का माल अपनी वेबसाइट पर बेचती है l क्यों कुछ हुआ है, क्या?
इसके अलावा और कुछ ?
उसने दिमाग पर ज़ोर देते हुए कहा, एक बार उमा को उससे लड़ते हुए देखा था l मेरे आते ही उमा ने बात बदल दीं और नैना भी वहाँ से चली गई l
लड़ाई? पर क्यों ?
अब वो तो मुझे नहीं मालूम l
ठीक है, कुछ पता चलेगा तो बताऊँगा आपको l उसके जाते ही शिवांगी ने रुद्राक्ष से कहा, मुझे तो लगता है कि यह जानबूझकर उमा को फँसा रहा है l
पहेली बड़ी उलझी हुई लगती है l मगर सुलझाना तो पड़ेगा ही l तुम इस पर और उस उमा पर नज़र रखो l
प्रिया शाम को घर आई तो उसने देखा कि जतिन उसका इंतज़ार कर रहा है l
तुम ऑफिस नहीं गए ?
अभी ऑफिस से ही आया हूँ l तुम अभिमन्यु के साथ थीं न ?
तुम्हें क्या करना है l
कुछ नहीं करना, मगर कल दोनों के वकीलो की मीटिंग है, इसलिए शाम चार बजे मेरे ऑफिस पहुँच जाना l
तुम कहाँ जा रहें हो ?
तुमसे मतलब ? और वह प्रिया को बिना देखें वहाँ से निकल गया l
तन्मय ने नैना का फ़ोन चेक किया तो दो-तीन मिस कॉल आई हुई हैं l उसने दोबारा पलटकर कॉल किया तो वह दोनों ही वेंडर निकले, जो सामान के बारे में पूछ रहें हैं l उसने एक फ़िर नैना के कॉन्टैक्स देखें, इस बार उसे ए कपूर नाम से एक नंबर दिखा तो उसने जल्दी से उस पर फ़ोन मिला दिया l मगर वह नंबर तो बंद बता रहा है l तभी राघव का फ़ोन उसके घर के लैंडलाइन पर आया,
हेल्लो तनु, तेरा फ़ोन बंद क्यों है?
बैटरी खत्म हो गई होगी l
अच्छा कल संडे है, कुछ सोचा है?
सुबह बताता हूँ l कहकर उसने फ़ोन काट दिया l
अगली सुबह राजीव सैर करते हुए वहीं पहुँच गया, जहाँ से नैना उस गाड़ी में बैठी थीं, उसने देखा कि आसपास कोई कैमरा भी नहीं है l अगर होते तो पुलिस न पता लगा लेती l यह सरकार कहती तो बहुत कुछ है, पर करती कुछ नहीं, कितने महीनो पहले कैमरा ख़राब हुआ था पर आज तक ठीक नहीं हुआ l तभी सोसाइटी के मेहरा जी ने उसे देखा तो उसे आवाज़ लगाते हुए बोले अरे ! राजीव बड़े दिनों बाद दिखे हों?
आप भी कहाँ नज़र आते हैं ?
और शेयर मार्किट के क्या हाल है ?
वहीं ताना-तानी चल रही है l
हँसते हुए, हाँ भई यह सब तो चलता ही रहेगा l
और मालिनी जी कैसी है ?
देहरादून गई है l
ओह ! अच्छा, तुम्हारी सोसाइटी की नैना सिंह के बारे में कुछ पता चला ?
तलाश ज़ारी है l
भगवान करें, सब ठीक हो, एक महीने पहले मैंने उसे किसी से सड़क पर लड़ते देखा था, फ़िर उसी के साथ गाड़ी मैं बैठकर चली गई l कुछ दिन बाद पता चला कि घर से निकल गई l
कौन था वो ?
मुझे क्या पता?
किस रोड पर ?
वो सुपरमार्केट वाली रोड पर श्याम डेरी के पास l मेहरा जी तो यह कहकर चले गए l मगर राजीव के दिमाग में उथल-पुथल मचने लगी l अब यह कौन आ गया, जिसके साथ नैना चली गई, यह औरत है की पहेलीl उसने बालों में हाथ फेरते हुए कहा l
प्रिया ने बाहर के कैमरे चेक किए तो जतिन फ़िर रात बारह बजे के करीब घर से निकल गया था और सुबह सात बजे आया था l आख़िर यह रोज़ तो किसी ऑफिस के काम से नहीं जा सकता l फ़िर यह चक्कर क्या है? वह जतिन के रूम की तरफ़ गई और उसे फ़ोन पर बातें करते देखकर वहीं रुक गई और उसकी बातें सुनने की कोशिश करने लगी l
कुछ दिनों की बात है, थोड़ा सब्र करो l जहाँ इतने महीने इंतज़ार किया थोड़ा और सही l नैना होती......अभी इतना ही सुन पाई थीं कि तभी एक सर्वेंट ने उसे आवाज़ देते हुए कहा, मैडम माली आया है l उसने हड़बड़ाते हुए जवाब दिया, ठीक है, तुम जाओ, मैं आती हो l अब आवाजें आनी बंद हो गई l
यह नैना से बात कर रहा था क्या... कहीं ऐसा तो नहीं है यह और नैना एक साथ हो l तभी जतिन हॉल में आ गया और प्रिया ने उसे देखते हुए सोचा कि आज रात मिस्टर जतिन तुम अकेले नहीं जाओंगे, मैं भी तुम्हारे पीछे जाऊँगी l अगर नैना तुम्हारे साथ हुई तो तुम्हें तुम्हारी ही जायदाद से एक फूटी कौड़ी नहीं मिलेगी बल्कि तुम दोनों के लिए जेल ही सही जगह होगी l