एक सुबह राधा उठी तो उसे उबकाई आने लगी।वह वाशबेसिन की तरफ भागी थी।उसे उबकाई लेते देखकर राजन की नींद भी खुल गयी थी।वह बिस्तर छोड़कर राधा के पास जा पहुंचा
"क्या हुआ?"
राधा मुह धोकर वापस बिस्तर में आते हुए बोली,"कुछ नही।"
"क्या तबियत खराब है?"राजन,राधा का हाथ अपने हाथ मे लेते हुए बोला।
"नही
"फिर सुबह सुबह उबकाई क्यो आ रही थी
"औरतों वाली बीमारी हो गयी है?"
"औरतों वाली बीमारी"
"हा औरतों वाली बीमारी
"यह बीमारी कौनसी होती है
"जब आदमी औरत को तंग करता है तब औरत को होती है
"मेरी समझ मे तुम्हारी बात नही आ रही
"यह तो समझते हो कि तुम्हे रोज रात को मेरा शरीर चाहिए।यह तो रोज करते हो।बिना सेक्स किये तुम्हे नींद नही आती।
"
"हा
"उसी का यह परिणाम है तुम्हारे अंश ने मेरे पेट मे जगह बना ली है।मै गर्भवती हो गयी हूँ।"
"मतलब मैं बाप बनने वाला हूँ।"
"नही
"क्यो नही
"मुझे आज ही डॉक्टर से मिलना होगा
"क्यो?"
"एबॉर्शन के लिए
"पागल हो।यह हमारे प्यार की निशानी है और तुम इसे गिराना चाहती हो।"
",हमारे देश मे शादी से पहले ऐसे प्यार की इजाजत नही है।"
" डोंट वरी।हम शादी कर लेंगे।"और राजन ने राधा को बच्चा गिराने से रोक दिया था
कुछ दिन बाद राजन बोला,"मुझे एक महीने के लिए कालेज की तरफ से अमेरिका जाना है
और राजन चला गया। एक महीने तक तो राजन के फोन आते रहे।और फिर उसके फोन आना बंद हो गए।राधा की कुछ समझ मे नही आया।क्या करे?कंही राजन के साथ कोई अनहोनी तो नही हो गयी।और अनहोनी की आसंका से वह सिहर गयी।क्या करे?राजन का अंश उसके गर्भ में था।उसके बच्चे की वह मा बनने वाली थी।
और कई दिनों तक सोच विचार करने के बाद उसने अमेरिका जाने का फैसला किया।फैसला तो कर लिया।पर वह जाएगी कान्हा।उसे यह मालूम ही नही था।अमेरिका के किस शहर में और किस कम्पनी में उसकी नौकरी लगी थी।और तब उसे विदेश मंत्रालय और अमेरिकन एंबेसेडर का ख्याल आया।
कई दिनों तक चक्कर लगाने के बाद राधा ने पता लगा लिया।राजन कहा गया था।वह केप टाउन गया था।और फिर पासपोर्ट और वीजा के लिए उसे प्रयास करने पड़े और पासपोर्ट वीजा का प्रबंध होने के बाद वह केप टाउन के लिए रवाना हो गयी।वहां उसने लोकल परस्सन और भारतीय समुदाय की मदद ली और एक दिन वह उस पते पर जा पहुंची जहां पर राजन रह रहा था।डोरबेल बजाने पर दरवाजा एक युवती ने खोला था,"किस्से मिलना है आपको?"
"राजन यही रहता है'
"यस,"वह युवती बोली ,"आप कौन है?"
"मै राधा।भारत से आई हूँ।"
"ओहो।वह ऑफिस गया है।"
"मुझे उससे मिलना है।आप उसका पता दे सकती है।"
"यस,"उस युवती ने राधा को राजन के दफ्तर का पता बता दिया था।
"क्या मैं आपके बारे में जान सकती हूँ।"चलने से पहले राधा बोली थी।
"मैं कैरोलिना।राजन की पत्नी
और कैरोलिना की बात सुनकर राधा के पैरों के नीचे से जमीन खिसक गई।राजन ने उससे शादी का वादा किया था।उसके बच्चे की वह मा बनने वाली थी।उसके शरीर को भोगकर उसने विदेशी लड़की से शादी कर ली थी।राजन जिस पर विश्वास करके राधा ने समर्पण कर दिया था।वह बेवफा निकला था।राजन की बेवफाई का मालूम चलने पर उसके मन मे विचार आया।अब क्या करेगी उसके पास जाकर।पर उसके चेहरे से शराफत का नकाब जो हटाना था।