"सबसे पहले मै आगरा जाना चाहती हूँ।"
"ताजमहल देखने?"
"वो बाद में।पहले मुझे अपने दादा का घर देखना है।"
"आपके दादा यही रहते थे?"
"हा।उनका यहां कारोबार था।सन 47 में देश के बटवारे के समय वह पाकिस्तान चले गए थे।"नाजिया ने रमन को अपने दादा के बारे में बताया था।
"तो पहले हमें आगरा चलना है।"और रमन ट्रेन से नाजिया को आगरा ले आया था।उसे होटल किरण में रोका था।अगले दिन सुबह वह नाजिया को लेकर नाई की मंडी गया था।नाजिया ने जो पता बताया उस जगह नया मकान खड़ा था।रमन ने बेल बजायी।युवक ने दरवाजा खोला था।दरवाजे पर अपरिचित युवक युवती को देखकर युवक बोला,"जी कहिए।"
"राम लाल जी का घर यही है।"
"रामलाल कौन रामलाल?यहां तो मैं विकास रहता हूँ।"
"पहले रहते हो?"नाजिया बोली थी।
"आप मेरे दादा की बात तो नही कर रही।रामलाल मेरे दादा थे।"विकास बोला था,"लेकिन उन्हें तो गुजरे हुए जमाना हो गया।बताइए क्या बात है?"
"यह नाजिया है।पाकिस्तान से आई है।इनके दादा असलम ने आपके दादा को यह मकान बेचा था--रमन ने पूरी बात विकास को बताई थी।
""आइए--विकास नाजिया और रमन को अंदर ले आया।फिर उसने आवाज लगाई थी,"मारिया आना तो।"
"बोलो।"मारिया कमरे में आते हुए बोली थी।
"यह मारिया है,मेरी पत्नी।क्रिश्चियन है।हमने प्रेम विवाह किया है,"विकास पत्नी के बारे में बताते हुए बोला,"यह नाजिया है
मारिया और विकास ,नाजिया को देखकर खुश हुए थे।काफी देर तक मेहमान नवाजी के बाद जब नाजिया जाने लगी तो मारिया बोली,"रुकती कुछ दिन तो
"अबके भविष्य में कभी आना हुआ तो मैं आपके पास ही रुकूँगी।"
और अगले दिन रमन ,नाजिया को ताजमहल दिखाने के लिए ले गया था।वहाँ पर दर्शकों की भीड़ देखकर नाजिया बोली,"काफी पर्यटक आते है।"
"करीब पचास हजार प्रतिदिन देशी विदेशी पर्यटक आते है।"
नाजिया मंत्रमुग्ध होकर काफी देर तक ताजमहल को निहारती रही थी।होटल में आने पर रमन बोला,"अब आप कहा कहा जाना पसंद करेंगी।"
"मुंबई,बेंगलोर,डॉ कलाम का घर,अभी जी 20 के मेहमानों ने जो आरती देखी वह भी देखनी है।कश्मीर भी देखना है।"
रमन पहले नाजिया को मुम्बई ले गया था।गेट वे,चौपाटी देखने के साथ वे जगह भी देखी थी।जहाँ पर आतंकी हमला हुआ था।
मुम्बई में रमन उसे फ़िल्म स्टूडियो भी दिखाने के लिए ले गया था।
"पाकिस्तान से आया था कसाब।"
"हमारे हुक्मरानों और फ़ौज की नीति के कारण आज पाकिस्तान की दुनिया मे कोई इज्जत नही है।अब तो दुनिया मानने लगी है आतंकियों को यही पनाह मिलती है।"
"हवाई जहाज का अपहरण होने में पाक का हाथ था।"
नाजिया ,रमन की बात सुनती रही।रमन ने नाजिया को मुम्बई की सैर कराई थी।फिर वह उसे ट्रेन से रामेश्वरम लेकर गया था।रामेश्वरम में होटल में रुकने के बाद रमन बोला,"क्या केवल कलाम का म्यूजियम और घर देखना है या रामेश्वरम भी घूमना है"
"यहां क्या है देखने का।"
"हिंदुओ का तीर्थ है।रावण,मा सीता का अपहरण करके लंका ले गया था।राम सेना लेकर यही आये थे।यहाँ पर उन्होंने शिव लिंग की स्थापना की थी।फिर धनुष कोटि से लंका के लिए पुल बनवाया और सेना को लंका ले गए थे।
"हजारों साल पहले समुद्र पर पुल बनाना चमत्कार से कम नही था,"नाजिया बोली,"जब मै पाकिस्तान से इतनी दूर आयी हूँ तो जरूर देखूंगी।"
"देखना भी चाहिए।"
और रमन,सबसे पहले नाजिया को मंदिर लेकर गया था
"बहुत लीग आते है यहाँ तो