Meri Dusri Mohabbat - 54 in Hindi Love Stories by Author Pawan Singh books and stories PDF | मेरी दूसरी मोहब्बत - 54

Featured Books
Categories
Share

मेरी दूसरी मोहब्बत - 54

( पवन बिस्तर पर नशे में लेटा होता है )

पवन अपनी किस्मत को लेकर बहुत परेशान हो चूका था। हमेशा किस्मत उसकी ही बुरी होती थी लेकिन वह अपनी राजकुमार होने की असलियत भी तो नहीं बता सकता है इसलिए चुपचाप वह अपना फ़ोन देखता है।

पवन (अपने आप से कहते हुए) – मुझे क्या करना चाहिए? क्या उसे सच बता देना चाहिए की मैं एक राजकुमार हूँ? लेकिन इससे तो वह मेरी अमीरी से प्यार करेगी मैं चाहता हूँ की मुझे ऐसी लड़की मिले जो सिर्फ मुझे प्यार करें ना की मेरे पैसे को। फिर मैं क्या करूँ? क्या उसे मैसेज करूँ?

(यही सब सोचते हुए वह वंशिका को फ़ोन पर मैसेज कर देता है)

हे, मुझे पता है की तुम ऐसा लड़का ढूंढ रही हो जो तुम्हारे स्टेटस को match कर सके। मैं तुम्हारे शायद लायक नहीं हूँ जैसा तुम देखती हो लेकिन सच बोलूं मुझसे ज्यादा प्यार तुम्हें कोई नहीं कर सकता है।

i love you with all my heart. क्या तुम मेरी गर्लफ्रेंड बनोगी?

मैसेज करके पवन चुपचाप बिस्तर पर लेटकर सोचने लगता है की अब क्या होगा? क्या वंशिका उसको accept कर लेगी? यही सोचते हुए वो फ़ोन में देखता है |

उधर से जबाब आया मै भी तुमसे प्यार करती हूं।

पवन को यकीन नही हो रहा था लेकिन वह नींद में था इसलिए गुड नाईट बोल कर सो गया

सुबह उठते ही पवन ने अपना फ़ोन चेक किया तो उसके नीचे से जमीन सरक चुकी थी वो कल वाला मैसेज नताशा मेम को गया था। भले ही नताशा मेम की शादी नही हुई थी लेकिन पवन और नताशा मेम में कम से कम 5 साल का अंतर तो था। पवन भागते हुए अपने दोस्तों को ये बात बताता है।

विशाल - देखो भाइयो ये बात सच है कि जब तुम्हारी जिंदगी लेती है तब तुम्हारे साथ वो भी हो जाता है जिसकी तुमने कल्पना भी नही की होती ऐसे में तुम्हे तो काफी दुख होता है लेकिन तुम्हारे दोस्त को बड़ा मजा आता है।

जैसे मुझे आ रहा था जब पवन ने मुझे ये बात बताई तो मै अपनी हँसी नही रोक पाया |

सचिन - वाह पवन झण्डे गाड़ दिए आपने भइया।

पवन - यार हँसना बन्द कर तुझे पता नही मेरे ऊपर क्या गुजर रही है

विशाल (हँसते हुए) - भईया गुजरे गी तो नताशा मेम तुम्हारे ऊपर से।

पवन - यार तू मेरी मदद करेगा या हँसता रहयेगा?

सचिन - अरे यार कोई बात नही करले नताशा मेम से क्या बुराई है देख भाई वंशिका तो तुझे वैसे ही भाव नही दे रही है इसलिए मेरी मान कर ले और नताशा मेम को बाद में ब्रेकअप दे दियो जब वंशिका हाँ करदे तेरे लिए।

विशाल - और उससे भी अच्छा कुछ बताऊँ तो सिंगल ही रह वो ज्यादा अच्छा है वैसे

पवन - ये तु हमेशा सिंगल ही क्यो रहता है सचिन? निकलो इन किताबी दुनिया से

करके देखो प्यार दुनिया की सबसे खुशी वाली चीज है।

सचिन - तुझे क्या लगता है मैने कभी किसी के साथ डेट नही किया

पवन - अच्छा किया है तो फिर ब्रेकअप क्यो किया?

सचिन - क्योंकि लडकिया अलग होती है लेकिन वो बेबकुफ़ थी. मेरी कहानी में इतने ट्विस्ट नही होते जितने उसने मेरी जिंदगी में ला दिए- उसे अगर सॉरी बोलू तो कहएगी सॉरी क्यो बोल रहे हो हम तो एक दूसरे से प्यार करते है और प्यार करने वालो के बीच सॉरी अच्छा नही लगता। लेकिन अगर मेने बाद में सॉरी बोलना भूल गया वो भी उस गलती के लिए जो मुझसे 4 साल पहले हुई थी मुझे तो याद भी नही होता

तो उसपर बोलएगी चिल्लाकर अच्छा अभी तक तुमने मुझे सॉरी भी नही बोला

एक तो हम लोग पैसे बचा बचा कर तो अपनी गर्लफ्रैंड को डेट पर ले जा पाते है इसमें भी उसकी दो सहेलियां साथ मे ले आती है बर्तन मांझने पड गए थे एक दिन मुझे।

पूरे दिन अगर बात करूँगा तो कहएगी की बेबी तुम फ्री हो लेकिन मे एक लड़की हूँ मुझे घर मे काम भी होते है हर वक्त नही कर सकती बात। लेकिन अगर तुम किसी काम मे व्यस्त हो तो भाड़ में गया तुम्हारा काम भाड़ में गए अब लड़ाई तो पक्का है फिर।

तुझे पता है वेलेंटाइन डे वीक हम लड़को के खिलाफ एक गहरी साजिश है वरना हमेशा वेलेंटाइन वीक 7 तारीख को ही क्यों शुरू होते है क्योंकि उसी दिन तो हम लड़को की सैलरी आती है। क्रेडिट कार्ड से पैसे उन दिनों ऐसे उड़ते है की बता नही सकता पिछले वेलेंटाइन वीक का कर्जा अब तक उतार रहा हु में बैंक का

पवन बस भौचक्का सा देखता रहता है।

विशाल - तू ये स्क्रिप्ट प्यार के पंचनामे वाले मूवी डायरेक्टर को भेज दे पक्का सलेक्ट हो जाएगी।

सचिन - अरे छोड़ यार तू बता तूने क्या सोचा?

पवन - सोचा तो कुछ नही बस जो चल रहा है चलने दूंगा बाद कि बाद में देखा जाएगा।

अब पवन दोनों को समय देने लगा- नताशा मेम के साथ भी घूमता और वंशिका के साथ भी लेकिन अलग अलग दोनों की बिना बताए। एक दिन पवन ने वंशिका को झूठ बोल दिया कि वह कॉलेज नही आ सकता क्योंकि उसकी तबियत ठीक नही है। और नताशा मेम के साथ डेट पर चला गया शाम को घूमते हुए नताशा मेम ने पवन के गालों पर चुम्बन दिया लेकिन पवन के तो पैरों से मानो जमीन खिसक गई हो। वो भी दूसरी दफा क्योंकि वंशिका सामने खड़ी थी।

वंशिका तुरन्त वहाँ से चली गई और पवन ने उसके पीछे उसका नाम पुकारते हुए दौड़ लगा दी। लेकिन वंशिका अपनी कार में जा चुकी थी। तभी पीछे से नताशा मेम ने पवन के कंधे पर हाँथ रखा और जैसे ही पवन पीछे मुड़ा उन्होंने एक जोरदार थपड उसकी उसी गाल पर जड़ दिया जिसपर कुछ वक्त पहले ही KISS मिली थी।

पवन ने नताशा मेम को सब सच बता दिया और नताशा मेम वहाँ से चली गई।

एक लड़के की जिंदगी में इससे ज्यादा बुरा कुछ नही हो सकता था लेकिन मैं गलत था।

अब पवन पूरे हफ्ते वंशिका से बात करने की कोशिश करने लगा लेकिन वंशिका ने उसे देखा भी नही। लेकिन पवन भी बहुत जिद्दी था इसलिए वह शाम को पहुंच गया जंहा वंशिका शाम को व्यायाम करने जाती थी। वह वंशिका के सामने खड़ा हो जाता है और वंशिका को पकड़ कर कहता है।

पवन - वंशिका मेरी एक बार बात तो सुन लो

वंशिका – अब क्या कहना है तुम्हें?

पवन – यार देखो, वो सब गलती से हुआ। सही बोलूं तो वो अब मेरी गर्लफ्रेंड भी नहीं है। सच में उस्सी दिन हमारा ब्रेकअप हो गया। मैं सच में तुम्हें प्यार करता हूँ और तुम्हें अपनी गर्लफ्रेंड बनाना चाहता हूँ।

वंशिका ये सुनकर पवन को गले लगा लेती है और फिर kiss करती है।

वंशिका – एक शर्त है लेकिन? तुम्हें हमारी रिलेशनशिप के बारे में किसी को नहीं बताना है। जब सही समय होगा तब मैं खुद बताउंगी। समझे?

पवन – हाँ! बिल्कुल।

वंशिका – चलो फिर मैं तुम्हें कल मिलती हूँ

इतना कहकर वंशिका वहाँ से चली जाती है।