Tere Ishq Me - 4 in Hindi Fiction Stories by Priyanka Taank Bhati books and stories PDF | तेरे इश्क में. - भाग 4

Featured Books
  • నిరుపమ - 3

    నిరుపమ (కొన్నిరహస్యాలు ఎప్పటికీ రహస్యాలుగానే ఉండిపోతే మంచిది...

  • అరె ఏమైందీ? - 16

    అరె ఏమైందీ? హాట్ హాట్ రొమాంటిక్ థ్రిల్లర్ కొట్ర శివ రామ కృష్...

  • నిరుపమ - 2

    నిరుపమ (కొన్నిరహస్యాలు ఎప్పటికీ రహస్యాలుగానే ఉండిపోతే మంచిది...

  • అరె ఏమైందీ? - 15

    అరె ఏమైందీ? హాట్ హాట్ రొమాంటిక్ థ్రిల్లర్ కొట్ర శివ రామ కృష్...

  • నిరుపమ - 1

    నిరుపమ (కొన్నిరహస్యాలు ఎప్పటికీ రహస్యాలుగానే ఉండిపోతే మంచిది...

Categories
Share

तेरे इश्क में. - भाग 4

अब रूही बहुत इरिटेट हो चुकी थी, अब तो उसका मन सिर्फ अपने स्टूडियो जाने का हो रहा था, रूही जानती थी की स्टूडियो ही एक ऐसी जगह है जहां उसे शांति मिलती है, रूही ज्वैलरी डिजाइनिंग का कोर्स कर चुकी थी और अब मास्टर्स का कोर्स करने के लिए वह अमेरिका जाना चाहती थी लेकिन जिस यूनिवर्सिटी में वह एडमिशन लेना चाहती थी ना वह सीट्स पहले ही फुल हो चुकी थी इसलिए तीन महीने पहले ही उसने अपने पापा से बोल कर अपना एक छोटा सा ज्वैलरी डिजाइनिंग स्टूडियो खोल लिया था आखिर वह खाली तो नही बैठ सकती ना और वैसे भी वह डिजाइनिंग में इतनी ग्रेट थी की अगर वह मास्टर्स ना भी करे न तो उसका स्टूडियो बहुत अच्छा प्रोग्रेस कर सकता है इन तीन महीनो में ही उसके स्टूडियो ने अच्छी खासी रेटिंग हासिल कर ली थी और करे भी क्यू ना आखिर ये स्टूडियो हंसलजी मेहता की बेटी का स्टूडियो है इसलिए बहुत सी नामी फैमिली अभी तक उसके स्टूडियो में ज्वैलरी डिजाइन करवा चुके थे,

रूही को अपसेट देख कर आंचल ने रूही से पूछा- रूही क्या तू जीजू के लिए रेडी करवाया हुआ गिफ्ट लेने नही चल रही है??

नही मुझे अब किसी के लिए कोई गिफ्ट नही लेना है, भाड़ में जाए वो राहिल खन्ना और उसका गिफ्ट!! अब रूही ने थोड़े तीखे लहजे में कहा.

रूही की बाते सुन कर आंचल ने रूही को समझते हुए कहा- रूही तू ये सही नही कर रही है, देख ये गिफ्ट तूने खुद डिजाइन किया है और तूने अपनी डिजाइन को जिस शॉप को मेकिंग के लिए दिया है वह पर तू पहले भी अपने डिजाइंस कंप्लीट करवा चुकी है लेकिन ऐसा अभी तक नही हुआ है की जो डिजाइन तूने मेकिंग के लिए दिया उसका ऑर्डर वापस लिया हो, इसलिए प्लीज अगर तुझे जीजू को गिफ्ट ना देना हो तो मत दे लेकिन अपना ऑर्डर कैंसिल मत करवा, आखिर इससे तेरे स्टूडियो को रेटिंग पर भी असर पड़ेगा, आंचल ने रूही को बड़े ही प्यार से समझाया, आंचल जानती थी की रूही गुस्से में ये सब कर रही है आखिर बाद में तो वह मान ही जायेगी ना और फिर अगर गुस्से में आ कर उसने ये ऑर्डर कैंसिल कर दिया तो फिर रूही को फिर से कुछ न्यू डिजाइन करना पड़ेगा.

रूही को भी आंचल की बात समझ में आ रही थी, आखिर ये स्टूडियो उसका सपना था ऐसे केसे रूही अपने स्टूडियो की रेटिंग पर आंच आने देती, रूही ने अपना मोबाइल निकाला और आंचल को देते हुए बोली- ठीक है आंचल ये ले और एस. के. ज्वेलर्स पर कॉल कर के बोल दे की मेरा ऑर्डर स्टूडियो पर डिलीवर करवा दे मैं तुझे घर छोड़ कर अपने स्टूडियो ही जाने वाली हु, कहते हुए रूही ने आंचल के घर की तरफ गाड़ी मोड़ ली.

आंचल ने एस. के. ज्वेलर्स पर कॉल कर के रूही का ऑर्डर उसके स्टूडियो पर ही डिलीवर करवाने का बोल दिया था,
थोड़ी ही देर में कार आंचल के घर के बाहर खड़ी थी रूही ने आंचल को उसके घर ड्रॉप किया और अपने स्टूडियो के लिए निकल गई.

रूही स्टूडियो पहुंच कर अपने केबिन में एंटर हो गई, अपनी चेयर पर बैठने के बाद उसने अपनी रिसेप्शनिस्ट को कॉल कर के दो प्रोजसीट्स की फाइल मंगवा ली और उसी पर काम करने लगी,
रूही अभी बस अपने प्रोजेक्ट्स पर काम कर ही रही थी की उसका ऑफिस का फोन बजा... फोन उसकी रिसेप्शनिस्ट का था, रूही ने जैसे ही फोन उठाया उधर से आवाज आई- मेम एस. के. ज्वेलर्स से आपका स्पेशल ऑर्डर डिलेवर्ड हुआ है क्या मैं ये आपके केबिन में ही भिजवा दू या इसे ऑर्डर्स वाले सेक्शन में रखना है?? नही नही नीलम ये तुम मेरे केबिन में ही भिजवा दो रूही ने कहा, रूही के फोन रखने के एक मिनट बाद ही इसके ऑफिस की क्लीनर उसका स्पेशल ऑर्डर ले कर उसके केबिन में आ गई थी.

रूही ने उस छोटे से नीले रंग के बॉक्स को खोल कर देखा,
उसमे एक बेहद ही खूबसूरत सा जेंट्स ब्राकलेट था जो रूही ने खुद ही राहिल के लिए डिजाइन किया था, ब्रेसलेट पर बहुत ही खूबसूरती से आई लव यू लिखा हुआ था जो ध्यान से देखने पर ही पढ़ा जा सकता था नॉर्मली देखने पर वह किसी डिजाइन के जैसा दिखता था , रूही ने उस खूबसूरत से ब्रेसलेट को बॉक्स में से निकाला और उसे देखने लगी... तभी अचनक उसका फोन फिर से बज उठा.. अब रूही ने थोड़ा झल्ला कर फोन उठाया... बोलो नीलम क्या बात है?? क्यू बार बार मुझे कॉल कर रही हो???
दूसरी तरफ से नीलम की थोड़ी धीरे से आवाज आई.. दरअसल रूही के जोर से बोलने पर नीलम थोड़ा घबरा गई थी इसी घबराहट में नीलम ने जवाब दिया- मेम आपसे मिलने अमन सिंघानिया आए है, उन्हें आपसे कुछ डिजाइंस रेडी करवाने है आप कहे तो मैं उन्हें आपके केबिन में भेज दू??

ठीक है भेज दो रूही ने अब थोड़े सपाट लहजे में कहा, और फोन रखते हुए फिर से उस ब्रेसलेट को देखने लगी, तभी अचानक कुछ सोचते हुए उससे बहुत तेज गुस्सा आया और उसने उस ब्रेसलेट को सीधे सामने की तरफ की तरफ फेंक दिया, ब्रेसलेट सीधे अमन के जूते से जा टकराया.

आई लव यू..... अमन ने ब्रेसलेट हाथ में उठाया और ब्रेसलेट की तरफ देखते हुए बोला.

**************