Is being a girl a punishment or a crime? in Hindi Crime Stories by shama parveen books and stories PDF | लड़की होना एक सजा है या गुनाह

Featured Books
Categories
Share

लड़की होना एक सजा है या गुनाह

आयशा आज बहुत ही उत्सुक थी। हो भी क्यों ना आखिरकार आज वो दिन आ ही गया जिसका की आयशा को इंतजार था।

आज आयशा की मां ने आयशा की पसंद का नाश्ता बनाया है और आज पिता जी भी बहुत खुश हैं। पिता जी नाश्ते पे बैठे बैठे आयशा को बुला रहे हैं जल्दी आओ बेटा वरना देर हो जायेगा।

आयशा पूजा करके जल्दी जल्दी आती है और पिता जी के साथ बैठ जाती है। तभी आयशा का छोटा भाई बोलता है की क्या बात है आज तो सब बहुत ही खुश हैं और इतना टेस्टी टेस्टी खाना भी बना है। तो पिता जी कहते हैं की आज बात ही कुछ ऐसी है।

तभी बाहर से आवाज आती है की आयशा जल्दी आ वरना देर हो जायेगी। तभी आयशा देखती है की नेहा है । फिर आयशा नेहा को बुलाती है की बस पांच मिनट रुक जा । में बस कोट पहन के आई ।

फिर जल्दी से आयशा आती है और फिर आयशा अपने मां पिता जी का आशीर्वाद लेती है और जल्दी जल्दी चली जाती है।

दोनो ऑफिस पहुंच जाती हैं।

आयशा। यार मै क्या करू मुझे बहुत ही डर लग रहा है। तो नेहा कहती हैं की यार तू डर क्यों रही है। तू तो इतनी इंटेलिजेंट है और तुझे तो सब कुछ आता है तो आयशा कहती हैं यार फिर भी।

आयशा बाहर बैठी रहती है और अपनी बारी आने का इंतजार करती है। तभी अंदर से आवाज आती है आयशा.....
तो फिर आयशा जल्दी से अंदर जाती है।

अंदर जाके आयशा देखती है की अंदर चेयर पे एक बॉस बैठे होते हैं तथा उनके सामने एक लड़का बैठा होता है।

तो आयशा जाते ही गुड मॉर्निंग सर बोलती है। तो फिर सर आयशा से बैठने के लिए बोलते है। तभी आयशा सोचती है की इस लड़के का इंटरव्यू अभी तक नही हुआ तो फिर सर ने मुझे क्यों बुला लिया।

तभी सर आयशा से पूछते हैं की आयशा अपने बारे में बताओ।
तब आयशा अपने बारे में बताना शुरू करती है और वो बताती है की उसने MBA किया है वो भी बिस्नेस में और उसने डिजिटल मार्केटिंग कोर्स भी किया है। और वो बोलती है की मै पूरी तरह से इस कंपनी में जॉब करने के लिए एलिजबल हु । मेरे पास वो सारी क्वालिटी है जिससे की मै आपके बिजनेस को आगे ग्रो कर सकती हू।

आयशा का यही confident देख के सर उससे इंप्रेस हो जाते हैं। उन्हे लगता है की आयशा एक अच्छी वर्कर है। तब सर आयशा से बोलते है की congratulations तुम हमारी कम्पनी के एक वर्कर के तौर पे काम कर सकती हो।

आयशा बहुत ही खुश हो जाती है।
तभी सर बोलते है की तुम कल से ही ज्वाइन कर सकती हो। और तुम्हारी सैलरी 25,000 होगी।

यह सुनते ही आयशा एकदम शॉक्ड हो जाती हैं। और बोलती है की सर आपने जो एड दीया था उसमे तो 50,000 सैलरी थी।

तब सर बोलते हैं की वो तो लडको के लिए थी तुम तो एक लड़की हो। तो मै तुम्हें 50,000 केसे दे सकता हु।

तब आयशा बोलती हैं की सर आप ये क्या बोल रहे हैं इस जॉब में लड़का या लड़की की बात कहा से आ गई

तब सर बोलते हैं की क्यों नही । क्या तुम्हे पता नही है कि एक लड़का और लड़की में कितना अंतर होता है। जितना दिमाग लडको में होता है उसका आधा दिमाग भी लड़कियों में नही होता। और तो और तुम्मे लडको जितनी ताकत भी नही होती। एक लड़का दस दस घंटे तक बिना रुके आराम से काम कर सकता है। मगर लड़किया तो दो या तीन घंटे में ही थक जाती हैं। और उन्हे आराम चाहिए होता है।

तब सर कहते है की तुम इस लड़के को देख रही हो ये भी एमबीए पास है इसे भी बिस्नेस का पूरा ज्ञान हे। ये तुमसे 100गुणा ज्यादा बुद्धिमान है क्यूक ये एक लड़का हे ।

लड़किया तो एक कमजोर ढांचा है जिन्हे कोई भी गिरा सकता है मगर लड़के तो एक चट्टान है जिन्हे कोई भी नही हिला सकता।

अगर मुझे अपने बिजनेस को आगे बढ़ाना है तो मै इस लड़के को रखूंगा और इसे पूरी ईमानदारी से 50,000 दूंगा क्योंकि मुझे पता है की ये मेरे बिजनेस को आगे लेकर जाएगा।

मै तो बस एक लड़की समझ कर तुम्हें ये नोकरी दे रहा था कि इससे तुम्हारा कुछ भला हो जाए और तुम कुछ सीख सको। वरना मैं तो तुम्हे 20,000 भी नही देता क्योंकि तुम एक लड़की हो

आयशा को ये सब सुन के गुस्सा आ जाता है ......

बस ..... अब बहुत हो गया । सर आप ये नोकरी मुझे भीख में नही दे रहे थे। में इस लायक थी तभी आपने मुझे इस नौकरी पर रखा था।
और आप बार बार ये क्या लड़की लड़की क्या बोल रहे हैं आपको पता नही है की आप किस सदी में जी रहे हैं.....

कोई बात नही शायद आपकी याददाश्त थोड़ी कमजोर है। कोई बात नही पर मेरी बहुत तेज़ है।
मै आपको बता दू की आप 21वी सदी में जी रहे हैं जहां आज लड़की लड़को के साथ कंधे से कंधा मिला कर चल रही है। आपको शर्म नही आती है की आप लड़कियों को इतना भला बुरा बोल रहे हैं उन्हें कमज़ोर बोल रहे हैं।

जिन लड़कियों को आप कमज़ोर बोल है आप भी उन्ही की औलाद है एक औरत की वजह से ही आज आप इस दुनिया में है। अगर आज औरत नही होती तो आज आपका भी वजूद नही होता।

और आप बार बार क्या बोल रहे थे की लड़किया ज्यादा काम नही कर पाती है क्योंकि वो जल्दी थक जाती हैं तो मै आपको बता दू की आज एसा कोई काम नही है की जिसे कोई लड़की ना करे।

एक बड़े से लेकर छोटे ओहदे तक हर जगह एक लड़की का बोल बाला है। चाहे वो देश की प्रधान मंत्री हो राष्ट्रपति हो या खेल जगत या सिनेमा जगत या चाहे अंतरिक्ष ही क्यों ना हों हर जगह लड़कियों ने अपनी ताकत के झंडे गाड़े है।

श्रीमती इंदिरा गांधी, श्रीमती प्रतिभा पाटिल , कल्पना चावला, सानिया मिर्जा, संतोष यादव, दीपिका पादुकोण, आलिया भट्ट, मैरी कॉम ।

इन सब को तो आप जानते ही हैं ना । आपको पता है ना की ये सब एक महिला ही है। इनमे से आप किसी एक का नाम बता दीजिए जो की निक्कमी हैं कुछ करती नही ।

ये सब बोल के आयशा कहती हैं की आप मुझे नौकरी क्या देंगे मैं खुद ही आप जेसे नीची सोच वाले इंसान के साथ काम नही करना चाहती। जिसे की लड़कियों से इतनी नफरत हे ।

ये बोल कर आयशा ऑफिस से बाहर निकल जाती हैं।