Risky Love - 30 in Hindi Thriller by Ashish Kumar Trivedi books and stories PDF | रिस्की लव - 30

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रिस्की लव - 30



(30)

जिन दिनों अंजन रघुनाथ परिकर के कंस्ट्रक्शन बिज़नेस में उसके लिए अवैध रूप से ज़मीन और प्रॉपर्टी हथियाने का काम करता था उन्हीं दिनों उसकी लव चढ्ढा से दोस्ती की शुरुआत हुई थी।‌
एक पार्टी में वह लव से मिला था। उस दिन दोनों को ही ऐसा लगा जैसे उनमें कई बातें ऐसी हैं जो एक जैसी हैं। उसके बाद दोनों कई बार एक दूसरे से मिले। हर बार दोनों की दोस्ती और मज़बूत होती जाती थी। वैसे लव उससे उम्र में बड़ा था। पर उम्र का यह अंतर दोनों की दोस्ती के आड़े नहीं आया। लव और अंजन एक दूसरे के पक्के दोस्त बन गए।
लव उन दिनों प्रतिबंधित स्टेरॉइड्स का धंधा करने वाले एक गैंग से जुड़ा था। अंजन की तरह वह भी आसमान छूना चाहता था। ऊँचा उड़ने की चाह दोनों की दोस्ती का मुख्य आधार थी। दोनों अपने अपने तरीके से अपने सपने पूरे कर भी लिए।
लव जिस गैंग के साथ काम कर रहा था अपनी हिम्मत और सूझबूझ से उसका बॉस बन गया। उसके बाद उसने तेज़ी से सफलता की तरफ कदम बढ़ाने शुरू कर दिए। अंजन रघुनाथ परिकर का विश्वास जीतकर मानवी को सीढ़ी बनाकर वहाँ पहुँच गया जहाँ जाना चाहता था। दोनों दोस्तों ने ‌अपना सपना पूरा कर लिया था। अपनी सफलता को सेलीब्रेट करने के लिए ‌दोनों लंदन गए थे।
अंजन ने परिकर भाइयों को मरवा कर उनके बिज़नेस और जायदाद पर कब्ज़ा कर लिया था। लव ने भी अपने कारोबार को और बढ़ाना शुरू कर दिया था। वह अब ड्रग्स के धंधे में आगे बढ़ रहा था। पर उसका एक दुश्मन भी पनप गया था।
जिस गैंग का वह बॉस बन गया था वह प्रवीण शिंदे का था। लव उसका विश्वास जीतकर उसका सबसे नज़दीकी आदमी बन गया था। जिसका फायदा उठाकर ही उसने धोखे से प्रवीण को मारकर उसका सबकुछ हड़प लिया था।
लव अपने धंधे में बड़ी तेज़ी के साथ आगे बढ़ रहा था। यह बात उस कारोबार में शामिल और लोगों को बुरी लग रही थी। लव के कारण कारोबार में उनका हिस्सा गिरता जा रहा था। लव एक तरह से उस क्षेत्र का राजा ही बनता जा रहा था।
प्रवीण शिंदे भी इस क्षेत्र में अच्छा नाम रखता था। लेकिन वह दूसरों का भी खयाल रखना था। उसके साथ आफताब रहमान भी इस कारोबार में एक बड़ा नाम था। प्रवीण और आफताब एक दूसरे के क्षेत्र में दखल नहीं देते थे।
लव ने जबसे कारोबार में कदम रखा था उस पर कब्ज़ा करना शुरू कर दिया था। उसका मकसद सिर्फ खुद को स्थापित करना था। इसलिए वह किसी सीमा का पालन नहीं कर रहा था।‌ यह बात आफताब को सबसे ज्यादा खराब लग रही थी। उसने अपने कारोबार के एक अन्य साथी तारकेश को अपने साथ मिलाकर लव को रास्ते से हटाने का मन बनाया।
प्रवीण शिंदे के गैंग के अधिकांश लोग लव के साथ हो गए थे। लव उन पर भरोसा भी करता था। उनके साथ से ही वह दिनोंदिन आगे बढ़ रहा था। इनमें एक था लॉरेंस गोम्स। लव उस पर सबसे अधिक भरोसा करता था। वह लव की सिक्योरिटी करता था और हमेशा लव के साथ रहता था।
लॉरेंस भी बहुत महत्वाकांक्षी था। आफताब और तारकेश ने उसे एक मोहरे की तरह इस्तेमाल करने की योजना बनाई। उन दोनों ने लॉरेंस से संपर्क करके उसे मिलने बुलाया। उन्होंने लॉरेंस को सारी बात बताते हुए कहा कि लव ने उसके बॉस नवीन के साथ छल करके उसकी जगह ले ली। अब वह कारोबार में सबके हिस्से पर अपना कब्ज़ा करना चाहता है। यदि लॉरेंस साथ दे तो तो वह दोनों लव को रास्ते से हटाकर उसकी जगह उसे बैठा सकते हैं। पर उसे सबके साथ मिलकर रहना पड़ेगा।
लॉरेंस को उनका प्रस्ताव अच्छा लगा। वह जानता था कि अपने दम पर लव की जगह हासिल कर पाना उसके लिए कठिन होगा‌। यह उसके लिए एक अच्छा अवसर है। वह उन दोनों की मदद के लिए तैयार हो गया।
जल्द ही उन्हें एक अच्छा मौका मिल गया।
लव सोफिया नाम की एक बार डांसर के इश्क़ में गिरफ्तार था। सोफिया का जन्मदिन था। वह चाहती थी कि उसके जन्मदिन पर लव उसके साथ रात भर पार्टी करे। लेकिन उन दोनों के अलावा कोई और ना हो। उसकी इच्छा पूरी करने के लिए लव उसे बीच पर बने अपने छोटे से कॉटेज में ले जाने वाला था। उसने लॉरेंस से अपने कुछ साथियों के साथ सिक्योरिटी पर रहने को कहा था।
लॉरेंस ने आफताब और तारकेश के साथ मिलकर एक प्लान बनाया। प्लान के हिसाब से आफताब और तारकेश अपने आदमियों के साथ आधी रात के करीब हमला किया। लॉरेंस ने अपने साथियों को शराब पिलाकर नशे में धुत कर दिया था। वो लोग कुछ कर नहीं पाए मारे गए। गोलीबारी की आवाज़ सुनकर लव सावधान हो गया। उसने सोफिया को हिदायत दी कि वह कमरे से बाहर ना निकले। उसका फोन उठाकर उसके दोस्त अंजन को मदद के लिए आने को कहे। यह हिदायत देकर वह अपनी गन के साथ बाहर की तरफ भागा।
वह कमरे से बाहर निकला ही था कि सामने आफताब और तारकेश दिख गए। उनके ठीक पीछे लॉरेंस मुस्कुराता हुआ खड़ा था। लव समझ गया कि उसने गद्दारी की है। पर अब वह कुछ करने की स्थिति में नहीं था। आफताब, तारकेश और लॉरेंस ने उसे एक एक गोली मारी। उसके बाद तीनों कमरे में घुसे। उन्होंने सोफिया को भी मार दिया। पर तब तक वह अंजन को खबर दे चुकी थी।
अंजन को मालूम था कि लव सोफिया के साथ कहाँ गया है। अपने साथियों के साथ वह फौरन मदद के लिए निकल गया। जब वह कॉटेज में पहुँचा तो वहाँ चारों तरफ खून बिखरा था। अंदर खून में लथपथ लव पड़ा था। अंजन ने महसूस किया कि अभी नब्ज़ चल रही है। वह फौरन उसे अस्पताल ले गया।
डॉक्टरों की कोशिश से वह बच गया पर ठीक होने में समय लग गया। लव इस हमले से टूट गया था। अंजन ने उसे हौसला दिया। फिर से शुरुआत करने की ताकत दी। अंजन की मदद से लव ने अपने दुश्मनों से बदला लिया। अपना सबकुछ वापस ले लिया। पर उसका मन अब यहाँ नहीं लग रहा था। वह कहीं दूर जाना चाहता था।
अंजन ने इस मामले में भी उसकी मदद की। लव अपना सबकुछ समेट कर लंदन चला गया। एक नए नाम सागर खत्री के साथ नई शुरुआत की। उसने एक कसीनो खरीद लिया। यहाँ कसीनो की आड़ में गैरकानूनी सट्टा भी लगता था।
धीरे धीरे सागर खत्री ने अपनी एक जगह बना ली।
अंजन ने उसकी इतनी मदद की थी। उस एहसान को वह भूला नहीं था। अब अंजन की मदद करके एहसान चुकाना चाहता था।

सागर खत्री ने अपना एक खास आदमी मीरा के बारे में पता लगाने के लिए लगाया था। अंजन से मिलकर जब वह अपने घर पहुँचा तो वह कुछ महत्वपूर्ण जानकारियों के साथ उसका इंतज़ार कर रहा था। उसने बताया कि मीरा लंदन लौटी ही नहीं थी। वह पहले गोवा गई थी। उसके बाद वहाँ से उसने सिंगापुर की फ्लाइट पकड़ी थी। अभी सिंगापुर में वह कहाँ है पता नहीं चला। पर वह जल्दी खोज लेगा। सागर खत्री समझ गया कि गोवा वह निर्भय और मानवी से मिलने ही गई होगी। उसने अपने आदमी से कहा कि वह सिंगापुर में निर्भय वाधवा के जितने घर या होटल हैं उनमें मीरा को खोजने की कोशिश करे।

दर्शन वशिष्ठ को जब सूचना मिली कि मानवी और निर्भय का अपहरण हुआ था लेकिन पुलिस ने उन्हें बचा लिया तो वह घबरा गया। वह जानता था कि अंजन उन तक पहुँच चुका है। एक मौका भले ही वह चूक गया हो पर दोबारा ऐसी गलती नहीं करेगा। वह जानता था कि उसकी जान भी खतरे में है। उसने अंजन को डबल क्रॉस किया है। अब उसकी खैर नहीं है।
शिमला के अपने घर में छिपा हुआ वह अब पछता रहा था कि पैसों के लिए उसने मानवी और निर्भय का साथ क्यों दिया। पैसे भी पूरे नहीं मिले अब जान पर आ बनी है।
वह हर पल डर के साए में जी रहा था। घर से बाहर तभी निकलता था जब बहुत ही आवश्यक हो। इस समय उसे कुछ ज़रूरी चीजें खरीदने के लिए बाज़ार आना पड़ा था। वह मॉल में जल्दी जल्दी ज़रूरी सामान से अपनी ट्रॉली भर रहा था। सामान का पेमेंट कर जब वह बाहर अपनी कार के पास पहुँचा तो दो लोग उसके पास आए। उन्हें देखकर लग रहा था कि उनका इरादा ठीक नहीं है।‌ दर्शन घबरा गया। सामान का बैग उसके हाथ से छूटकर गिर गया। एक वैन आई उसे जबरदस्ती उसमें ढकेल दिया गया।

अंजन के पास उसके आदमी का फोन आया। उसने बताया कि दर्शन उसकी कैद में है। वह जानना चाहता था कि आगे क्या करना है। अंजन को दर्शन की कोई ज़रूरत नहीं थी। उसे पास लाने को कहकर वह कोई खतरा नहीं लेना चाहता था। उसने अपने आदमी से वह उसे खत्म कर दे।

इंस्पेक्टर कौशल सावंत को मानवी और निर्भय के इस बयान से तसल्ली नहीं हुई थी कि उन्हें किसने और क्यों किडनैप करने की कोशिश की। अपने अनुभव से वह यह जानता था कि दोनों जानबूझकर कुछ छिपा रहे हैं या डरे हुए हैं। उसने उनसे सख्ती करने की जगह खुद पता करने के बारे में सोचा।
माइकल का वह आदमी जिसके पैर में गोली लगी थी वह इस मामले में सहायक हो सकता था। लेकिन खून अधिक बह जाने से वह बयान देने की हालत में नहीं था। कुछ देर पहले ही इंस्पेक्टर कौशल सावंत को खबर मिली थी कि वह अब ठीक है। वह उससे बात करने के लिए निकल रहा था जब एक और अच्छी खबर मिली। राज्य सरकार ने सब इंस्पेक्टर रोवॉन को उसकी बहादुरी के लिए सम्मानित करने का फैसला किया है। इस खबर से पुलिस स्टेशन में खुशी की लहर दौड़ गई। सब सब इंस्पेक्टर रोवॉन को बधाई देने लगे। इंस्पेक्टर कौशल सावंत ने भी उसे बधाई दी।
जब इंस्पेक्टर कौशल सावंत माइकल के आदमी से मिलने के लिए जा रहा था तब सब इंस्पेक्टर रोवॉन ने भी उसके साथ जाने की इच्छा जताई।‌ इंस्पेक्टर कौशल सावंत उसे भी अपने साथ ले गया।