hum kal hi to mile the in Hindi Poems by Niraj Bishwas books and stories PDF | हम कल ही तो मिले थे

Featured Books
Categories
Share

हम कल ही तो मिले थे

हम कल ही मिले हो ऐसे लगता है,
फिर तुम्हे क्यों लगता है हमें अलग ,
हो जाना चाहिए ,मुझे तो नही लगता,
मैंने तो सोचा भी था कि हम दोनों ,
साथ मिलकर दुनिया के एडवेंचर पर चलेंगे
फिर आखिर मेरे प्लान का क्या होगा ,

तुमने always mere plan Saath Diya है,
वह क्लास बंक करना हो या सर की चेयर पर
फेविकोल लगाना हो ,बेल बजाकर भागना हो
तुमने हमेशा मेरा साथ दिया है,
इस प्लान को क्विट करने से मै क्या समझ लू,
तुमने मेरा साथ छोड़ दिया है या
किसी बात से गुस्सा हो तुम सायाद
पहले तो तुमने गुस्सा में कभी प्लान क्विट नहीं किए
अरे यार लग रहा है ज्यादा गुस्सा हो गई
क्योंकि यह प्लान तो हमारा dream plan tha,
मुझे तो याद नहीं की मैंने तुम्हे कुछ दिनों से रुलाया है,
और ऐसे बात है तो में कल तुम्हे गुपचुप खिला दूंगा
अरे नहीं यार कुछ ज्यादा गुस्सा हो तो
Special treat deni padegi sayad ,
Accha ice-cream aur samosa bhi khila dunga
तो मान्न जाए सयाद ,

अगर फिर भी नहीं मानी तो क्या करूंगा
तब एक ही रास्ता है जो पक्का काम करेगा,
मै उससे पूरे क्लास के सामने sorry bol dunga,
तब तो उसको मुझे माफ करना ही पड़ेगा
हा करना ही पड़ेगा ,

सुबह मैं पूरी तैयारी साथ स्कूल पहंचा,
मैंने घर पर फूल प्रैक्टिस की थी,
इसलिए मैं अपने प्लान को लेके sure tha,
Par अंदर से एक अजीब डर था,
जो मुझे एहसास करा रहा था कुछ गरबर होगा,
मैंने असेंबली में उसे खोजने की कोशिश की
जैसा मैं अक्सर ही करता रहता था
और कई बार मुझे punishment bhi mili
Woh bhi aksar मुझे खोजा करती थी
क्योंकि कई बार उसकी चोरी पकड़ी गई थी
और जब ऐसे होता तो वो काफ़ी बचकानी हरकतें करती
जो वह मुझे तंग करने के लिए करती
मगर वो थी भोली और उसे क्या पता
वह हरकते मेरे दिल को अजीब सा सुकून दिया करती थी
पर आज वो दिख नहीं रही थी
जो पहली बार था मेरे लिए क्योंकि
मैं उसे बचपन से जानता था और हम स्कूल के पहले दिन
ही टीचर से punishment mili ek dusre ko dekne
Ke ki wajah se,
Maine socha gussa ki wajah se
कही और से छुप कर देख रही हो
इसलिए मैंने जाने दिया यह सोच कर क्लास में तो देखेगी ही
पर वो आज स्कूल ही नहीं आई थी
मेंने उसे साम को बाजार में देखा और
दौड़ते हुए पहूंच गया तो उसने मुझे बहुत बेरुखी से देखा
तो मुझे लगा गुस्सा है इसलिए और उसने अपना मुंह खोला
तो उसने कहा अब वो स्कूल नहीं आ रही
वो आगे पदाई के लिए शिमला जा रही है,
और वो बहुत एक्साइटेड है और उसने
कहा उस वहां बहुत मज़ा आने वाला है
मैंने अंदर से रो दिया था ,
फिर वो अपने पापा के साथ चली गई,
मुझे अकेला छोड़ कर और में उसके जाने बाद
अपने आंसू नहीं रोक पाया ,
तभी उसकी दीदी मेरी तरफ आती हुई दिखी
और फिर सामने आकर उसने कहा इशा तुम्हारे
बहुत रोती है ,लेकिन तुम्हारे सामने नहीं रोई
क्योंकि तुम न रोया करो आने वाले दिनों में
उस गलत मा समझना बस और कुछ नहीं
पर उसने मेरे दिल को सुकून जरूर दिया


ooo इसलिए अलग होने की,-----------
अब क्या बताऊं तुम्हारे बिना मुझे अच्छा ही नहीं लगेगा,
वो तुम्हारी मीठी स्माइल और बचकानी हरकते
मेरी आदत बन चुकी अब और मेरे लिए ऑक्सीजन जैसे ही है

मुझे पता तुमने कितना रोते हुए मुझे बोला था,
तू ऐसे show kar rhi thi तुम्हे मुझ से कोई ,-;;;;;;
लेकिन मुझे पता है तुम भी मुझ से दूर नहीं जाना चाहती हो,
मुझे बताया तुम्हारी दीदी ने तुम कितना रोई हो,
मै आऊंग कल तुम्हारे घर और पु छुंगा अंकल से
आखिर आप मेरा और मेरे दोस्त का प्लान क्यों
आखिर खराब करना चाहते है आप