हिमाद्रि

(1.3k)
  • 506.8k
  • 108
  • 326.7k

हिमाद्रि(1)उमेश परेशान सा बंगले के हॉल में बैठा था। वह समझ नहीं पा रहा था कि क्या बात है। दो दिन पहले ही तो अपनी पत्नी कुमुद को ठीक ठाक छोड़ कर गया था। कल शाम उससे बात हुई थी तब भी वह ठीक थी। पर आज दोपहर को दुर्गा बुआ ने उसे फोन कर बताया कि कुमुद को ना जाने क्या हो गया है। पहले तो दोपहर तक अपने कमरे का ही दरवाज़ा नहीं खोल रही थी। THIS BOOK IS AVAILABLE NOW ON AMAZON AT DISCOUNT, SEARCH हिमाद्रि ON AMAZON.IN

Full Novel

1

हिमाद्रि - 1

हिमाद्रि(1)उमेश परेशान सा बंगले के हॉल में बैठा था। वह समझ नहीं पा रहा था कि क्या बात है। दिन पहले ही तो अपनी पत्नी कुमुद को ठीक ठाक छोड़ कर गया था। कल शाम उससे बात हुई थी तब भी वह ठीक थी। पर आज दोपहर को दुर्गा बुआ ने उसे फोन कर बताया कि कुमुद को ना जाने क्या हो गया है। पहले तो दोपहर तक अपने कमरे का ही दरवाज़ा नहीं खोल रही थी। बहुत कहने पर उसने ...Read More

2

हिमाद्रि - 2

हिमाद्रि(2)कुमुद की बात सुनने के बाद उमेश और अधिक परेशान हो गया था। वह बहकी बहकी बातें कर रही उमेश के मन में आह उठी। हे प्रभु ये क्या हो गया उसे। कितनी खुशमिजाज़ थी। आज उसकी आँखों में खौफ दिख रहा था। वो शैतान जो भी है मैं उसे छोड़ूँगा नहीं। उमेश इस बात का अंदाज़ लगाने का प्रयास करने लगा कि वह कौन हो सकता है जो चुपचाप आया और कुमुद के साथ यह कुकर्म कर चला गया। वह भीतर कैसे आया होगा। ज़रूर बुआ के ...Read More

3

हिमाद्रि - 3

हिमाद्रि (3)कुमुद की मेडिकल रिपोर्ट ने सबको चौंका दिया। रिपोर्ट के हिसाब से कुमुद पर बलात्कार के कोई निशान थे। ना तो उसके गुप्तांग पर जबरदस्ती प्रवेश के निशान थे। ना ही योनि में शुक्राणु पाए गए। अन्य किसी प्रकार के यौन शोषण के भी कोई निशान नहीं थे। गगन चौहान ने उमेश को बुला कर इस विषय में बात की। मि. सिन्हा आपकी पत्नी की मेडिकल रिपोर्ट किसी तरह के बलात्कार की पुष्टि नहीं करती है। उन्होंने अपने बयान में किसी प्रेत को इसका ज़िम्मेदार ठहराया ...Read More

4

हिमाद्रि - 4

हिमाद्रि (4)कुमुद के दिमाग में आईने के पीछे छिपा दरवाज़ा घूम रहा था। पढ़ी हुई रोमांचकारी कहानियां उसे प्रेरित रही थीं कि वह जल्द से जल्द दरवाज़े के रहस्य का पता लगाए। वह जानती थी कि कल रात तक उमेश वापस आ जाएगा। उसके सामने वह दरवाज़े का रहस्य नहीं पता कर पाएगी। दुर्गा बुआ के रहते भी यह नहीं हो सकता था। दरअसल कुमुद के दिमाग में चल रहा था कि वह खुद ही इस रहस्य को सामने लाए। जैसा कहानियों के मुख्य किरदार करते थे। कुमुद के व्यक्तित्व ...Read More

5

हिमाद्रि - 5

हिमाद्रि(5)उमेश गंभीर मुद्रा में बैठा था। बुआ उसके पास ही बैठी थीं। भैया बहूजी की हालत देख कर बहुत लग रहा है। बेसमेंट के उस छिपे हुए कमरे में प्रेत है। मेरी मानो किसी तांत्रिक को बुलवा कर तंत्र साधना करवा लो। बुआ की बात सुन कर उमेश कुछ उत्तेजित होकर बोला। बुआ आप भी....ये सब प्रेत वेत का चक्कर नहीं है। भैया बहूजी ने अपनी कहानी बताई उसके बाद भी ऐसा कह रहे हो। हाँ उसके बाद ही कह रहा हूँ। बुआ जो हुआ उसने कुमुद के दिमाग पर बुरा असर डाला है। ...Read More

6

हिमाद्रि - 6

हिमाद्रि(6)गगन चौहान ने फोन कर उमेश से मिलने की इच्छा जताई। वह पुलिस स्टेशन के बाहर कहीं मिलना चाहता उमेश ने उसे बंगले पर बुला लिया। बुआ चाय की ट्रे रख कर जाने लगीं तो गगन ने उन्हें बैठने को कहा। उस दिन जब कुमुद जी के साथ वह हादसा हुआ तब आप बंगले के पिछले हिस्से में बने क्वार्टर में थीं। फिर भी क्या आपने कोई आवाज़ सुनी थी। जी नहीं.... अगर हमको ज़रा भी आहट लगती तो हम बहूजी की मदद को ...Read More

7

हिमाद्रि - 7

हिमाद्रि (7)अपने मम्मी पापा के आने से कुमुद की स्थिति में सुधार हुआ था। वह अब अपने मम्मी पापा साथ बातें करती थी। सरला दुर्गा बुआ के साथ मिल कर कुमुद के पसंद का खाना बनाती थीं। कुमुद बड़े मन से खाना खाती थी। कुमुद के मम्मी पापा उसे खुश रखने की पूरी कोशिश करते थे। बहुत समय के बाद घर का माहौल कुछ अच्छा हुआ था। उमेश मन ही मन ईश्वर को धन्यवाद दे रहा था।आज अमावस थी। कुमुद के साथ हुए हादसे को आज पूरा एक ...Read More

8

हिमाद्रि - 8

हिमाद्रि(8)कुमुद अस्पताल से घर आ गई थी। सारी रिपोर्ट सामान्य थीं। किसी में भी डरने वाली कोई बात नहीं कल रात के बाद कुमुद को कोई तकलीफ भी नहीं हुई थी। सब बहुत खुश थे। उमेश कल से परेशान था कि कहीं रिपोर्ट में कुछ ऐसी वैसी बात ना निकल आए। लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ। कुमुद भी सामान्य सी सबके साथ बैठी हुई थी। सब आपस में बातचीत कर रहे थे। सरला जो कल रात कुमुद की हालत देख कर बहुत डर गईं थीं अब उसे ...Read More

9

हिमाद्रि - 9

हिमाद्रि(9)बड़ी कठिनाई से रात बीत गई। प्रेत की सभी कोशिशों को तेजस ने नाकाम कर दिया। सुबह सूर्योदय होने बाद तेजस ने कहा कि अब कोई खतरा नहीं है। आप सब अपनी दिनचर्या के हिसाब से रहिए। दोपहर तक डॉ. निरंजन यहाँ आकर सब संभाल लेंगे।सब रोज़ की तरह नहा कर तैयार हो गए। सरला और बुआ ने कुमुद की तैयार होने मे सहायता की। वह बहुत अधिक कमज़ोर लग रही थी। सरला ने अपने हाथ से उसे नाश्ता कराया। खाने के बाद वह कुछ अच्छा महसूस ...Read More

10

हिमाद्रि - 10

हिमाद्रि(10)हिमाद्रि...इस नाम ने सभी के मन में हलचल मचा दी। खासकर उमेश के दिल में इस नाम के लिए नफरत सी पैदा हुई। कुमुद को तकलीफ देने वाली, उसके जीवन में उथल पुथल मचाने वाली उस अज्ञात शैतानी ताकत का नाम हिमाद्रि था।प्रेत आगे कह रहा था। गांव वालों ने मुझे पीट पीट कर मार दिया। मेरे मन की वासना अतृप्त थी। इसलिए मैं प्रेत बन गया। डॉ. निरंजन ने उसे अपनी पूरी कहानी बताने को कहा। इस पर वह प्रेत भड़क उठा। क्या करोगे ...Read More

11

हिमाद्रि - 11

हिमाद्रि(11)हिमाद्रि छुट्टियों में घर आया था। उसे शहर के जीवन की आदत थी। गांव में उसे कम अच्छा लगता लेकिन उर्मिला देवी उससे शिकायत करती थीं कि वह उसे देखने को तरस जाती हैं। अतः वह केवल अपनी माँ का मन रखने के लिए गांव आता था।उर्मिला देवी जवान होते अपने बेटे को देख कर फूली नहीं समाती थीं। अब वह और अधिक आकर्षक व खूबसूरत हो गया था। जब वह गांव की गलियों से गुजरता था तो जवान लड़कियां उसे चोरी छिपे निहारती थीं। लेकिन हिमाद्रि की ...Read More

12

हिमाद्रि - 12

हिमाद्रि(12)बूढ़े को जब होश आया तो दिन निकल चुका था। कुछ क्षण वह अपने आसपास के माहौल को भांपने प्रयास करता रहा। कुछ ही समय में उसे रात की घटना याद आई। अपनी बेटी का खयाल आते ही उसके शरीर में जान आ गई। वह उठ कर अस्पताल की तरफ भागा। रास्ते में उसे जो भी दिखता उसे हिमाद्रि की करतूत बताता। धीरे धीरे बात सारे गांव में फैल गई। उर्मिला देवी ने जिस तरह परंपराओं को तोड़ कर हिमाद्रि का विवाह रोज़लीन से करवाया था उससे गांव वाले गुस्से में ...Read More

13

हिमाद्रि - 13

हिमाद्रि(13)पंडित शिवपूजन ने अपनी आयु के कई साल तंत्र विद्या सीखने में लगाए थे। भूत प्रेत को वश में के लिए उनका नाम दूर दूर तक फैला था। वह 87 साल के थे। किंतु अभी भी बिना सहारे के तन कर चलते थे। मुखिया जी के घर के दालान में पंडित शिवपूजन तख्त पर पालथी मार कर बैठे थे। गांव के कई लोग सामने बिछी दरी पर हाथ जोड़े बैठे थे। मुखिया जी ने उन्हें हिमाद्रि की सारी कहानी बता दी थी। वह उसी पर विचार कर रहे थे। ...Read More

14

हिमाद्रि - 14

हिमाद्रि(14)पंडित शिवपूजन जानते थे कि हिमाद्रि ने सदैव छल से काम लिया है। वह छल से ही अपने आप बचाने का प्रयास करेगा। इसलिए उन्होंने धानुक को उसे बंधन में बांधने के लिए चुना। धानुक बल का प्रयोग तो कर सकता था। लेकिन ज़रूरत पड़ने पर बुद्धि का प्रयोग भी कर सकता था।हिमाद्रि को जबसे पंडित शिवपूजन के गांव में आने की बात पता चली थी वह सजग हो गया था। अतः वह गांव के बाहरी छोर पर स्थित शमशान में जाकर छिप गया था। धानुक ने अपनी ...Read More

15

हिमाद्रि - 15

हिमाद्रि(15)अंग्रेज़ी राज में भी बहुत से अंग्रेज़ ऐसे थे जो भारत को ही अपना वतन समझते थे। जेम्स स्मिथ ऐसे ही अंग्रेज़ थे। जेम्स का जन्म भारत में ही हुआ था। उन्हें भारत की मिट्टी और यहाँ के लोगों से बहुत प्यार था। वह अंग्रेज़ी सरकार के राजस्व विभाग के अधिकारी थे। जेम्स को भारतीय संस्कृति से भी बहुत लगाव था। उन्होंने अंग्रेज़ी भाषा में उपलब्ध कई हिंदू पुराणों व ग्रंथों, बौद्ध तथा जैन दर्शन आदि का अध्ययन किया था। भारतीय ग्रंथों को सही तरह से समझ पाने की ...Read More

16

हिमाद्रि - 16

हिमाद्रि(16)भारत को आज़ादी मिले ग्यारह साल हो गए थे। जॉर्ज अब तीस वर्ष का हो गया था। जेम्स और दोनों ही दुनिया छोड़ कर जा चुके थे। जॉर्ज कोमल ह्रदय व प्रकृति प्रेमी व्यक्ति था। वह बहुत ही कुशल चित्रकार था। उसने बंबई के जे.जे. स्कूल ऑफ आर्ट्स से पढ़ाई की थी। अपनी पेंटिंग्स के माध्यम से उसने वहाँ रह कर बहुत नाम कमाया था। लेकिन उसका अपना मन उस महानगरी की भीड़ भाड़ से ऊब गया था। वह किसी शांत स्थान में आकर रहना चाहता था। जेम्स ने हिमपुरी ...Read More

17

हिमाद्रि - 17

हिमाद्रि(17)मगन एक बोरे में छिपा कर घड़ा ले जा रहा था। ताकि किसी की नज़र ना पड़े। वह घड़ा अपने छोटे से कमरे में पहुँचा जहाँ दोनों भाई रहते थे। कमरा अंदर से बंद कर उसने घड़ा बाहर निकाला। पहली बार उसने घड़े को ध्यान से देखा। वह पीतल का था। मिट्टी में दबे रहने के कारण काला पड़ गया था। उसके मुंह पर कपड़ा बंधा था जो लगभग सड़ चुका था। मगन ने घड़ा हाथ में लेकर वज़न का अंदाज़ लगाया। घड़ा भारी था। उसके मन में आया ...Read More

18

हिमाद्रि - 18

हिमाद्रि(18)हिमपुरी और उसके आसपास के गांवों में एक बार फिर दहशत का माहौल था। बीना के अतिरिक्त तीन और के शव जंगल के अलग अलग हिस्सों में मिल चुके थे। पहली दृष्टि में देखने से लगता था कि सभी के साथ दुष्कर्म करने के बाद उनका कत्ल कर दिया गया होगा। लेकिन पोस्टमॉर्टम में जब बलात्कार की जाँच की गई तो पुलिस हैरान थी कि उन सभी औरतों की योनि में वीर्य नहीं पाया गया। ना ही जबरन प्रवेश के कोई निशान थे। किंतु उन सभी औरतों की ...Read More

19

हिमाद्रि - 19

हिमाद्रि(19)उमेश ध्यानमग्न बैठा था। डॉ निरंजन उसके पास आकर बोले। अब आपका यह बंगला प्रेत से मुक्त हो गया अब किसी तरह के डर की ज़रूरत नहीं। हिमाद्रि अब प्रेत लोक चला गया है। दुर्गा बुआ पास ही खड़ी थीं। वह बोलीं। हमारी इच्छा थी कि घर में एक शुद्धि हवन हो जाता। मन को तसल्ली मिल जाती। जैसा आप चाहें। वैसे मेरे हिसाब से अब किसी तरह की चिंता की आवश्यक्ता नहीं है। बुआ ने रज़ामंदी के लिए उमेश की ओर देखा। उमेश ने कहा। बुआ आप अपनी तसल्ली के लिए जो कराना चाहती ...Read More

20

हिमाद्रि - 20

हिमाद्रि(20)उमेश परेशान हाल घर पहुँचा तो उसे देख कर दुर्गा बुआ भी घबरा गईं। वह फौरन पानी लेकर उसके पहुँचीं। उमेश के पानी पी लेने के बाद उन्होंने पूँछा। भैया क्या बात है ? बहुत परेशान लौटे हो। पुलिस स्टेशन में क्या बात हुई। उमेश ने बुआ को बैठने को कहा। बुआ उसके पास बैठ गईं। उमेश ने पुलिस स्टेशन में गगन ने जो कुछ कहा था वह सब बता दिया। बुआ... क्या आपने कभी कुमुद को ऐसी हरकत करते देखा है। मैं तो इधर होटल के काम से इधर उधर दौड़ रहा ...Read More

21

हिमाद्रि - 21

हिमाद्रि(21)अगले दिन उमेश फिर अपने बचे हुए सवालों के साथ डॉ. गांगुली के क्लीनिक पर मौजूद था। उसके कुछ से पहले डॉ. गांगुली बोले। उमेश बाबू आपके मन के बाकी के सवालों का भी जवाब मिल जाएगा। किंतु एक बात तय हो चुकी है कि कुमुद को रेग्युलर सेशन्स के लिए आना और दवाइयां लेना बहुत ज़रूरी है। ऐसी बीमारियों के इलाज में समय लगता है। अतः धैर्य बनाए रखना होगा। डॉ. गांगुली की बात से उमेश पूरी तरह से सहमत था। अतः उन्हें आश्वासन देते हुए बोला। मैं भी चाहता हूँ ...Read More