ये सच्ची कहानी है उस इंसान की जो चाहता तो दूसरों की तरह सारी ज़िदगी किस्मत के सहारे अपनी ज़िदगी गुजार सकता था, लेकिन उसने फैसला लिया कि वो अपनी किस्मत से नहीं बल्कि अपनी मेहनत से किस्मत को बदल देगा। उसका फैसला सही निकला। यही वजह है कि जिसको कल तक दाना दाना जुटाने के लिए जूते तक पॉलिश करने पड़े वो आज मल्टीनेशनल कंपनी में बडे से पद पर है। बावजूद वो अपने बीते हुए कल को नहीं भूला और आज ऊंची जगह पहुंचने के बावजूद गरीब बच्चों को आईएएस और डॉक्टर बनने में मदद कर उनकी तकदीर बदल रहा है।