ॐ गं गणपतये सर्व कार्य सिद्धि कुरु कुरु स्वाहा॥अब आगे –Kaynat को पीछे ना पलटता देख, Sarthak खुद जिसने अभी सिर्फ एक bathrobe पहना हुआ था, वो खुद उसके सामने जा कर खड़ा हो जाता है। Sarthak को अपने सामने देख कर Kaynat डर से हकलाते हुए कुछ बोलने की कोशिश करते हुए बोलती है, "म… मे… मैं… वो… वो… वो।"इससे आगे Kaynat कुछ बोलती उससे पहले ही Sarthak Kaynat के साड़ी के पल्लू को पकड़ कर उसके कंधे से खींच कर अलग कर देता है। जिसके लिए Kaynat बिल्कुल तैयार नहीं थी। क्योंकि Sarthak ने ये सब कुछ इतना