अंजाना रिश्ता ये अपना ...... - 1

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        जिंदगी के कुछ पहलू ऐसे होते हैं, जो रिश्ते में उलझे रह जाते हैं ख़ुशी- गम या नफ़रत जैसे जज़्बातों से कभी कबार  रिश्ते उलझ जाते हैं ,साथमे दर्द की गहरी चोट दे जाते हैं   हम जिसे बिछड़ना नहीं चाहते उसीसे बिछड़ना पड़ता है   जिंदगी के इसी पड़ाव पर खड़ी थी नयन और तारा की कहानी            नयन अपने परिवार के साथ रानीगंज में रहती थी!  उसके परिवार में वो, उसका भाई ध्रुव , माँ, बाबा, और दादी रहते थे नयन का भाई शहर का बड़ा डॉक्टर था उसके बाबा बिज़नेस