और फिर बोला देखो यशु को सब बता दिया मैंने जैसा तुमने कहा था?पर लगता है कि यशु नाराज़ हो गया है। फिर बिमल रोज की तरह पलंग पर लेट गए। और सो गए। दूसरे दिन सुबह उठकर देखा तो यश का दरवाजा बंद था और फिर अन्दर से तोड़ फोड़ करने की आवाज आई तो मैं मन में हंसा और फिर बोला कि हां ,सब कुछ स्वाभाविक ही है मेरा यशु तो ये सब पहले भी करता था। कुछ देर बाद सरिता भी आ गई और फिर नाश्ता तैयार करने लगी। यश अपने रूम में अपने सारे गुस्से, अभिमान