29गुल ने पुजारी की आधी बात ही सुनी, वह समुद्र को निहारने लगी। समुद्र से उड़ता हुआ एक पंखी गुल के समीप आ गया। उसकी चांच में कुछ था। गुल उसे ध्यान से देखने लगी। उसकी चांच में एक मछली थी जो जीवित तो थी किंतु मृत्यु से जीवन के लिए संघर्ष कर रही थी। उस पंखी ने उस मछली को नीचे रख दिया। मछली अभी भी संघर्ष कर रही थी। गुल पंखी की तरफ़ दौड़ी। गुल के पगरव से पंखी उड़ गया, मछली वहीं छोड़ गया। गुल ने कुछ क्षण मछली को देखा, उसे अपने हाथों से उठाया और