पौराणिक कथाये - 7 - लोहड़ी की पौराणिक कथा

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लोहडी का त्यौहार मकर संक्राती से एक दिन पहले मनाया जाता हैं ।ये त्यौहार पूरे उत्साह और उमंग के साथ प्रति वर्ष 13 जनवरी को पूरे देश में मनाया जाता रहा है । इस त्योहार की ऐसी मान्यता है कि लोहड़ी का त्यौहार नविवाहित जोड़ों और नए जन्मे शिशुओं के लिए खास होता है । लोहड़ी को पहले तिलोड़ी कहा जाता था । लोहड़ी का अर्थ होता है लो का अर्थ लकड़ी, ओ का अर्थ उपले और ड़ी का अर्थ रेवड़ी से है । यानि तीनों शब्द के अर्थों को मिला कर लोहड़ी शब्द बना है ।ऐसा माना जाता है