आज बप्पा को आये 11 दिन कैसे बीत गये पता ही नहीं चला...और उनके वापिस वैसे लौटने का समय भी आ गया...आज बहुत सारे लोगो को बप्पा को ले जाते देख एक किस्सा याद आ गया...एक छोटा सा बच्चा था।जिसकी सोसाइटी में भी बप्पा की बहुत सुंदर प्रतिमा स्थापित की गई थी। वो बच्चा रोज सुबह शाम अपने दोस्तों के साथ बप्पा की विराजमान जगह के पास खेलता, आरती करता, लोगों की मदद करता खुश रहता....10 दिन तक उसने बप्पा की बड़ी सेवा की, जिस दिन बप्पा को अपने घर वापस लौटना था, उस दिन उस बच्चे की तबीयत खराब