रात के आकाश की गहरी नीलिमा में से प्रभात ने झांक कर देखा कि एक युवक तेजी के साथ संकेत की तरह उठे हुए पर्वत की ओर चला जा रहा है।उसका हृदय समस्त संसार की गति से स्पंदित था।बिना तनिक सी भी चिंता किए हुए वह समतल मैदान पर घंटों ही चलता रहा। जब वह जंगल के निकट पहुंचा, तो उसे एकदम समीप और सुदूर से आती हुई एक बड़ी ही रहस्यमय सी ध्वनि सुनाई पड़ी, “युवक! अगर तुम हत्या नहीं करना चाहते, तो इस जंगल में होकर मत जाओ!”युवक आश्चर्य से स्तंभित खड़ा रह गया।चारों तरफ घूमकर देखा, पर