बेड नम्बर ग्यारह

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आज फिर से दोनों माँ बेटियों में तकरार को रही थी, सुबह से ही बेटी ने माँ से कहा था कि नाश्ता कर लो लेकिन मां ने कहा था नहीं बेटा आज तो करवा चौथ है। चाॅंद देखकर ही कुछ खाऊंगी, इस इसी बात पर गुड़िया मां से उलझ पड़ी थी । हर साल यही क्रम करवा चौथ के दिन गुड़िया को अपनी माॅं पर बहुत गुस्सा आता था वो सोच रही थी, आखिर मां किसके लिए इतना कष्ट झेलती है, पूरे दिन भूखे प्यासे रहकर तपस्या करती है, एक ऐसे आदमी के लिए जो बाईस बरस पहले अपनी जवान