विश्वास - कहानी दो दोस्तों की - 33

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विश्वास (भाग -33)उन लोगो के जाने के बाद भी कुछ देर उनकी ही बातें होती रही। सब प्रभावित हुए बिना नही रह सके भुवन के परिवार के आचार- व्यवहार से।कार्ड के साथ एक बड़ा सा बॉक्स भी था जो लाल रंग के वेलवट जैसे कपडे से लिपटा था।उमा जी ने खोल कर देखा तो उसमें छ: चाँदी के गिलास थे जिनमें ड्राई फ्रूट भरा हुआ था।"माँ हम को शादी में क्या देना चाहिए"?उमेश ने पूछा।"बेटा मैं सोच रही हूँ कि संध्या के लिए पेंडेटसेट या कुछ और गोल्ड में देना सही रहेगा। कैश देना ठीक नहीं लगेगा"। "ठीक है माँ