सौरभ,,,क्या छुपा रहे हो तुम लोग,,,??अबीर,,,कु,,कुछ भी तो नही वडी,,तुझे कोई गलतफहमी है,,।सौरभ,,,,ह्म्म,,मेंडी....,,,मेंडी डरते हुए क्योंकि सौरभ उसे नाम से तभी बुलाता है जब वो बहुत सीरियस हो,,मेंडी,,,,स,सर मुझे कुछ काम है में वो करके आता हूँ,,,,।मेंडी बाहर की तरफ भाग गया,,,,,सौरभ उसे जाते देखते हुए अबीर की तरफ मुडा,,,,,ह्म्म वडी तू बता क्या चल रहा है,,,,??अबीर,,,,नथिंग वडी,,,,तू फालतू में टेंशन.....सौरभ उसे घूरते हुए,,,,,,,,वडी ऐसा कोई लॉक नही देखा मेने जो रोन न खोल सके।ओर मेंडी ने कहा कि लॉक खुला नही।मुझे तभी समझ आ गया था की तुमलोग कोई खिचड़ी तो पका रहे हो ओर कुछ कहना बाकी