अनमोल सौगात - 10 - अंतिम भाग

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भाग १० वर्तमान --- टी टी टी टी टी टी अलार्म के बजने से नीता विचारों की निद्रा से जाग गयी। वह रात भर नहीं सो पायी थी क्योंकि उस एक रात में वह अब तक की पिछली पूरी ज़िन्दगी यादों के माध्यम से जी गयी थी। उसने पानी पीते हुए पवित्रा और अनिमेष के बारे में सोचना शुरू किया। यद्यपि यह इतना आसान नहीं था फिर भी उसने निश्चय कर लिया कि वह सबको इस विवाह के लिए मना लेगी। नाश्ता करके पवित्रा और पुलक दोनों अपने अपने काम पर निकल गए। मुकेश चाय पीते हुए अखबार पढ़ रहा