ये देखो यहां कोई इतनी चोट खाने पर मुस्कुरा रहा है।मतलब हर बात मजाक लगती है खुद को आयरन मैंन समझ रहे है आप......!क्या सच मे दर्द नही हो रहा।अर्पिता ने प्रशान्त से पूछा तो प्रशान्त न में गर्दन हिला देते है।ओह गॉड!कहते हुए अर्पिता प्रशान्त का फोन निकालती है और खुद से उसका हाथ उठा लॉक खोलती है।ये देख प्रशान्त थोड़ा हैरानी से उसे देखते हैं।अर्पिता परम को कॉल लगाते हुए प्रशान्त से कहती है इतना हैरान होने की जरूरत नही है हमे इतना तो हक़ है न..!तो वही किया है अपने हक का इस्तेमाल!समझे आप तो यूँ टुकुर