चाण्क्यनिती भाग—2 झूठ बोलना, कठोरता, छल करना, बेवकूफी करना, लालच, अपवित्रता और निर्दयता ये औरतो के कुछ नैसर्गिक दुर्गुण है। भोजन के योग्य पदार्थ और भोजन करने की क्षमता, सुन्दर स्त्री और उसे भोगने के लिए काम शक्ति, पर्याप्त धनराशी तथा दान देने की भावना — ऐसे संयोगों का होना सामान्य तप का फल नहीं है। उस व्यक्ति ने धरती पर ही स्वर्ग को पा लियाः १. जिसका पुत्र आज्ञांकारी है, २. जिसकी पत्नी उसकी इच्छा के अनुरूप व्यव्हार करती है, ३. जिसे अपने धन पर संतोष है। पुत्र वही है जो पिता का कहना मानता हो, पिता वही है