लहराता चाँद लता तेजेश्वर 'रेणुका' 4 संजय ने आँख पोंछी। उसकी नज़र काँच के दरवाज़े से बाहर बग़ीचा की ओर थी। उस छोटी-सी बगिया में 8-10 साल की एक बच्ची उड़ती हुई एक तितली को पकड़ने की कोशिश कर रही थी। वह धीरे से तितली के पीछे जाती जैसे की उसे हाथ लगाने को हाथ बढ़ाती तितली उड़ जाती, लेकिन वह बच्ची हार न मानते हुए फिर से उसके पीछे दबे पाँव पीछा करती। ऐसी ही तो हैं मेरी बेटियाँ, अवन्तिका और अनन्या इतने कम उम्र में उनकी माँ की बीमारी से उनकी बचपन पर क्या असर पड़ेगा? न जाने