दरमियाना भाग - २४ वस्तुतः उस पहले दिन रेखा से इस इलाके का यह वर्णन जान कर, उसे विस्तार से बताने की जरूरत मुझे क्यों पड़ी, यह बात भी दो-चार बार वहाँ जाने के बाद ही पता चली। उस मुलाकात के बाद मेरा जब भी मंडी हाउस जाना हुआ और समय भी मिल पाया, तो रेखा के यहाँ जरूर गया। वह मिली तो थोड़ी-बहुत गपशप हो गयी, अन्यथा उसकी अनुपस्थिति में उसके घर नहीं बैठा, बल्कि उस कॉलोनी की बेतरतीब गंदी गलियों से होता हुआ लौट आया। वहाँ से गुजरने के दौरान मैंने हमेशा आसपास के लोगों महिलाओं, युवाओं, बच्चों,