रासलीला (challenge accepted)

  • 11k
  • 2.4k

रासलीला जन्मास्टमी का दिन था, अच्छा खासा मोहोल था, सुबह भी एक दम नयी शुरुआत करने के लिए मानो तैयार ही बेठी थी |या रामाशंकर अपने घर में श्री कृष्णा प्रभु के जोर शोर से पूजा कर रहा था, वह उनका बोहोत बड़ा भक्त था, उतने में घर की लाइट चली गई, और दरवाज़ा खुल गया उसमें से एक लड़का अंदर आया, उसने सिर पर मोर पँख लगा रखा था, उसकी वेशभूषा भगवान धरती पे आ गये हो ऐसी थी |"उठो वत्स, उठो रामशंकर, में तुमसे मिलने आया हूँ |"रामाशंकर को होश न रहा उसे याक्किन ही नहीं हुआ, उसने अपनी बेटी