शादी में पहुंच गए फाइनली। शादी हमारे दूर के चाचा की बेटी की थी। बारात की खातिरदारी चल रही थी अभी। वैसे जिंदगी की भाग-दौड में हमें टाइम नहीं मिलता रिश्तेदारों से मिलने का पर शादीयों में सब मिल जाते हैं। एक चाची है हमारे रिश्ते में जो हमेशा शादी के रिश्ते बतातीं रहतीं सबको। वो हमारे पास आए और भाभी से मेरे बारे में पूछने लगे। चाची- कितनी बड़ी हो गई पाखि! बहुत समय बाद देखा तुम्हें। अरे सेतु-मिता लड़का देखा के नहीं इसके लिए? सेतु भाभी- चाचीजी अभी तों यह छोटी है, अभी-अभी